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Bihar Police: DGP ने जारी किया आदेश, लाइसेंसी हथियार रखने वाले सावधान, ऐसा किए तो लाइसेंस होगा रद्द, पढ़ लीजिए नहीं तो फेरा में फसेंगे

Bihar Police: राज्य में शादी-विवाह, जन्मदिन की पार्टी और अन्य सार्वजनिक समारोहों में निजी अंगरक्षकों के बल पर दबंगई दिखाने या हथियार चमकाने की घटनाएं बढ़ रही ऐसे में डीजीपी ने बड़ा आदेश जारी किया है।

Bihar Police
DGP Alok Raj order- फोटो : प्रतिकात्मक

Bihar Police: बिहार में शादी विवाह में हथियार चमकाने वालों पर बिहार पुलिस अब सख्त कार्रवाई करेगी। मांगलिक समारोह में हथियार चमकाना अब लोगों को भारी पड़ सकता है। दरअसल, बिहार पुलिस ने निजी अंगरक्षकों या बाउंसरों के दम पर दबंगई दिखाने वालों पर शिकंजा कसने का फैसला लिया है। मालूम हो कि राज्य में शादी-विवाह, जन्मदिन की पार्टी और अन्य सार्वजनिक समारोहों में निजी अंगरक्षकों के बल पर दबंगई दिखाने या हथियार चमकाने की घटनाएं बढ़ रही थीं। डीजीपी ने कहा है कि यह व्यवस्था पूरे बिहार में लागू होगी। राज्य के किसी कोने में दबंगई बर्दाश्त नहीं की जाएगी।  

क्यों उठाया गया ये कदम?

बिहार पुलिस ने यह कदम बढ़ती दबंगई को देखते हुए उठाया है। अक्सर शादी विवाह में पैसे और अमीरी का रौब दिखाने के लिए निजी अंगरक्षक रखकर लोग अपनी मनमानी कर रहे थे। कई बार इन अंगरक्षकों द्वारा सार्वजनिक स्थानों पर हथियारों का प्रदर्शन किया जाता था। इससे कानून-व्यवस्था की स्थिति खराब हो रही थी।

क्या होगी कार्रवाई

अगर इस मामले में बाउंसर या अंगरक्षक दोषी पाए जाते हैं तो उनका हथियार जब्त कर लिया जाएंगा। साथ ही, उसका हथियार लाइसेंस भी रद्द कर दिया जाएगा। न केवल अंगरक्षक बल्कि जिस व्यक्ति ने अंगरक्षक रखा है, उसके खिलाफ भी कार्रवाई होगी। राज्य भर में कार्रवाई होगी। नालंदा और रोहतास जिलों के बाद अब राज्य के सभी जिलों में इस तरह की कार्रवाई की जाएगी। बता दें कि नालंदा से हथियार लहराने के कई मामले अक्सर सामने आते रहते हैं। 

क्या कहते हैं नियम

शस्त्र अधिनियम 2016-32 इस अधिनियम के तहत सार्वजनिक स्थानों पर हथियार प्रदर्शित करने पर सख्त कार्रवाई का प्रावधान है। इस नियम का उल्लंघन करने पर दंडात्मक कार्रवाई के साथ साथ हथियार भी जब्त किए जाएंगे।  बिहार निजी सुरक्षा एजेंसी नियम 2011- इस नियम के तहत निजी सुरक्षा एजेंसी के मालिक और उसकी गतिविधियों का सत्यापन किया जाता है। राज्य के सभी पुलिस अधिकारियों को इस संबंध में दिशानिर्देश दिए जाएंगे और राज्य भर में इस तरह की कार्रवाई की जाएगी।

किस आधार पर होगी कार्रवाई?

अंगरक्षक रखने की अनुमति

अंगरक्षक उपलब्ध कराने वाली संस्था की वैधता

अंगरक्षक के पास हथियार रखने का लाइसेंस

अंगरक्षक और व्यक्ति की आपराधिक पृष्ठभूमि

हथियार की अंतिम जांच

कारतूस की उपलब्धता और उसका उपयोग

डीजीपी का आदेश

डीजीपी आलोक राज ने कहा है कि अंगरक्षक रखने में कोई दिक्कत नहीं है, लेकिन अगर कोई अपने अंगरक्षकों के बल पर किसी को डराएगा या दबंगई दिखाएगा, तो वैसे लोगों को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने कहा कि, ऐसे मामलों में जांच होगी और दोषी व्यक्ति पर कठोर कार्रवाई होगी। उन्होंने ये भी साफ कर दिया है कि ये नियम पूरे बिहार में लागू होगा। 

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