Bihar land acquisition - जमीन रजिस्ट्री के न्यूनतम निबंधन मूल्य को लेकर को सरकार का नया फैसला, सभी जिलों के डीएम को दिया यह आदेश, जमीन अधिग्रहण की मिलेगी सही कीमत
Bihar land acquisition- बिहार में जमीन रजिस्ट्री के लिए एमवीए को लेकर सरकार ने बड़ा फैसला लिया गया है। जिसके बाद अब जमीन अधिग्रहण को सही कीमत को लेकर ढेर होने की समस्या खत्म हो जाएगी।

Patna - बिहार की नीतीश सरकार ने जमीन निबंधन के नए एमवीआर(न्यूनतम निबंधन मूल्य) को लेकर नया आदेश जारी किया है. जिसके अनुसार अब सभी जिलों के डीएम को वर्तमान बाजार मूल्य के आधार पर भू-अर्जन का राशि का निर्धारण तय करने का अधिकार सौंपा गया है।
इस संबंध में राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के अपर मुख्य सचिव दीपक कुमार सिंह ने बताया कि नए आदेश के बाद जमीन निबंधन के नए एमवीआर (न्यूनतम निबंधन मूल्य) की प्रतीक्षा में बड़ी परियोजनाओं के लिए भूमि अधिग्रहण की कार्रवाई बाधित नहीं होगी। उन्होंने कहा कि सभी प्रमंडलीय आयुक्तों एवं जिलाधिकारियों को पत्र लिख कर कहा है कि वे इस मामले में विशेष शक्तियों का प्रयोग करें।
बाजार मूल्यों का रखें ध्यान
सभी जिलों के डीएम को लिखे पत्र में कहा गया है कि किसी परियोजना के लिए भूमि अधिग्रहण की अधियाचना प्राप्त होते ही प्रक्रिया और मूल्य निर्धारण की कार्रवाई शुरू कर दें। कहा गया है कि पुनरीक्षण के समय जमीन के प्रचलित बाजार मूल्य का ध्यान रखा जाए। उसे ही आधार बनाया जाए।
जिला मूल्यांकन समिति को दे सकते हैं निर्देश
उन्होंने बताया कि इसके तहत केंद्रीय मूल्यांकन समिति के अध्यक्ष विशेष परिस्थिति में जिला मूल्यांकन समिति को आदेश दे सकते हैं। इसमें जमीन अधिग्रहण की तीन श्रेणियों का जिक्र किया गया है। जिसमें विशेष शक्ति का उपयोग औद्योगिक क्षेत्र, आधारभूत संरचनाओं का निर्माण एवं वृहत पैमाने पर आवासीय क्षेत्रों के विकास के लिए भूमि अधिग्रहण के मामले में किया जा सकता है।
नए नियमावली का नहीं कर सकते इंतजार
अपर मुख्य सचिव ने कहा कि यह प्रविधान बिहार स्टांप (लिखत का न्यूनतम मूल्यांकन निवारण) संशोधन नियमावली 2013 में किया गया है। अपर मुख्य सचिव ने साफ लिखा है कि मद्य निषेध, उत्पाद एवं निबंधन विभाग के स्तर पर पूरे राज्य के लिए नया एमवीआर तैयार करने में अभी समय लगने की संभावना है। अगर उसकी प्रतीक्षा करें तो भूमि अधिग्रहण में देरी हो सकती है, इसलिए विशेष शक्ति का प्रयोग करते हुए अधिग्रहण की प्रक्रिया जारी रखी जाए।