Bihar insurance scam - एलआईसी के एजेंटों संग मिलीभगत कर कॉपरेटिव बैंक मैनेजर ने किया 101 करोड़ का साम्राज्य, ईओयू के खुलासे से मचा हड़कंप, आरोपी गिरफ्तार

Bihar insurance scam - बिहार का सबसे बड़ा इश्योरेंस स्कैम सामने आया है, जिसमें मास्टरमाइंड बैंक मैनेजर ने एलआईसी एजेंटों संग मिलकर 101 करोड़ का फर्जीवाड़ा किया है।

Bihar insurance scam - एलआईसी के एजेंटों संग मिलीभगत कर कॉपर

Patna - आर्थिक अपराध इकाई, बिहार, पटना में अपर पुलिस महानिदेशक, आर्थिक अपराध इकाई के निर्देशन में गठित विशेष टीम द्वारा आज दिनांक-22.07.2025 को मो. सैयद शहनवाज वजी, पिता-सैयद वजीहुद्दीन अहमद साकिन-बाग कल्लुखान, सदर गली थाना-खाजकलम, पटना सिटी के रहने वाले है, उनको गुप्त सूचना के आलोक में गिरफ्तार किया गया है। 

1998 से 2024 तक किया फर्जीवाड़ा

सैयद शहनवाज वजी, वर्ष 1998 से लेकर वर्ष 2013 तक अवामी कॉपरेटिव बैंक, पीरबहोर में सहायक शाखा प्रबंधक एवं शाखा प्रबंधक के रूप में कार्यरत था। इस क्रम में अपराधिक षड्यंत्र कर इनके द्वारा इस बैंक के अन्य कर्मियों, भारतीय जीवन बीमा निगम के पदाधिकारियों एवं कर्मियों, भारतीय जीवन बीमा निगम के एजेंटों तथा दलालों से मिलीभगत कर फर्जी LIC पॉलिसी तैयार कर फर्जी ऋण खाता खोलकर कुल 16.17 करोड़ की जमा राशि/लोक निधि (पब्लिक मनी) को धोखाधड़ी एवं फर्जीवाड़ा कर गबन कर लिया गया। 

2021 में दर्ज हुआ केस, तीन साल बाद हुआ जांच

इस संबंध में पीरबहोर (पटना) थाना काण्ड संख्या-229/21 दर्ज किया गया, जिसका अनुसंधान आर्थिक अपराध इकाई के द्वारा वर्ष 2024 में लिया गया। इसी प्रकार सैयद शहनवाज वजी के द्वारा बतौर शाखा प्रबंधक, वैशाली सहकारी विकास कॉपरेटिव बैंक, हाजीपुर वैशाली में वर्ष 2014 से लेकर 2023 तक अपराधिक षड्यंत्र कर इस बैंक के अन्य कर्मियों, भारतीय जीवन बीमा निगम के पदाधिकारियों एवं कर्मियों, भारतीय जीवन बीमा निगम के एजेंटों तथा दलालों से मिलीभगत कर फर्जी LIC पॉलिसी तैयार कर ऋण खाता खोलकर एवं वेयर हाउस / कोल्ड स्टोरेज की फर्जी रिसिट एवं दस्तावेज तैयार कर कुल 83.50 करोड़ की लोक निधि (पब्लिक मनी) के धोखाधड़ी एवं फर्जीवाड़ा कर गबन कर लिया गया। 

इस संबंध में हाजीपुर नगर थाना काण्ड सं0-629/23, 785/23 एवं 933/23 दर्ज किये गये, जिनका अनुसंधान आर्थिक अपराध इकाई के द्वारा वर्ष 2024 में लिया गया। इस प्रकार इन चारों काण्डों में लगभग 101 करोड़ रूपये आम नागरिकों के द्वारा उपरोक्त बैंकों में जमा की गई राशि का बड़े पैमाने पर गबन किया गया। सैयद शहनवाज वजी इसके मुख्य अभियुक्त है। मो. सैयद शहनवाज वजी के विरूद्ध पूर्व में भी एक अपराधिक मामला वर्ष 2013 में गबन से संबंधित दर्ज होना पाया गया है।

चार साल से था फरार

यह पिछले 04 वर्षो से इन काण्डों में फरार थे। प्रर्वतन निदेशालय के द्वारा भी इस प्रकरण में ECIR-5/24 दर्ज किया गया है। मो. सैयद शहनवाज वजी से प्राथमिकी पूछताछ में आये साक्ष्यों के आधार पर इनके 02 और सहयोगियो को आर्थिक अपराध इकाई की विशेष टीम के द्वारा गिरफ्तार किया गया है, जिनका नाम 01. शौकत अली, पिता-सदरूद्दीन साकिन-अजिमाबाद, पटना, कर्मचारी अवामी कॉपरेटिव बैंक, पीरबहोर एवं 02. रजनीकांत उर्फ गोपाल प्रसाद, पिता-लल्लू प्रसाद, साकिन- नन्दगोला मालसलामी, पटना (पूर्व LIC एजेंट) है। 

इन बैंकों  के अधिकारी भी शामिल

अबतक के अनुसंधान के क्रम में यह बात प्रकाश में सामने आयी है कि इस काण्ड के मुख्य अभियुक्त मो. सैयद शहनवाज वजी के अतिरिक्त अवामी कॉपरेटिव बैंक, पीरबहोर, वैशाली सहकारी बैंक कॉपरेटिव बैंक हाजीपूर, भारतीय जीवन बीमा निगम, पटना कार्यालय के कर्मचारी एवं अन्य एजेंट तथा कई दलाल भी इस अपराधिक षड्यंत्र में शामिल है जिनके विरूद्ध अग्रतर कार्रवाई की जा रही है।