Bihar Ed raid - पटना में ईडी की बड़ी कार्रवाई, इस कंस्ट्रक्शन कंपनी की करोड़ों की संपत्ति को किया जब्त

Bihar Ed raid - मनी लांड्रिंग के मामले में ईडी ने बड़ी कार्रवाई करते हुए पटना की कंस्ट्रक्शन कंपनी की संपत्ति को जब्त कर लिया है। बताया गया कि कंपनी के अधिकारियों ने निवेशकों के पैसे को अपने निजी संपत्ति बना लिया था।

Bihar Ed raid - पटना में ईडी की बड़ी कार्रवाई, इस कंस्ट्रक्श

Patna - बिहार में प्रवर्तन निदेशालय लगातार एक्टिव नजर आ रहा है। निदेशालय के पटना जोनल कार्यालय ने बड़ी कंपनियों में शामिल मेसर्स अनु आनंद कंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड की 1.79 करोड़ की चल अचल संपत्ति को जब्त कर लिया है। बताया जा रहा है कि ईडी की यह कार्रवाई धोखाधड़ी के मामले को लेकर की गई है। जानकारी के अनुसार जब्त की गई संपत्तियां कंपनी के निदेशकों और कंपनी के पूर्व कर्मचारी के नाम पर पंजीकृत हैं। इस मामले में ईडी ने अब तक कुल 9.61 करोड़ रुपये की संपत्ति कुर्क या जब्त की है।

कंपनी का पैसों को निजी संपत्ति बनाया

यह मामला मेसर्स अनु आनंद कंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड के दानापुर के प्रोजेक्ट साईं एन्क्लेव से जुड़ा है। आरोप है कि इस प्रोजेक्ट के नाम पर कंपनी ने संभावित खरीदारों से लगभग 9.61 करोड़ की राशि वसूली मगर इसे निदेशकों ने व्यक्तिगत संपत्तियों के अधिग्रहण में लगा दिया।

घर बनाने में किया इन पैसे का प्रयोग

इसके अलावा पटना में अपने आलीशान घर के निर्माण में भी खरीदारों की राशि का इस्तेमाल किया गया था। अपराध की आय का एक हिस्सा कंपनी के कर्मचारी को हस्तांतरित किया गया, जिसने बाद में इसका उपयोग अपने नाम पर आवासीय भूमि हासिल करने के लिए किया।  इस मामले में सबसे पहले बिहार पुलिस ने कंपनी और अन्य के खिलाफ आइपीसी की धारा 420, 1860 के तहत दर्ज एफआइआर के आधार पर जांच शुरू की। इसी प्राथमिकी के आधार पर ईडी ने जांच संभाली और कार्रवाई शुरू की।

पिछले साल भी हुई थी कार्रवाई

इससे पहले पिछले साल सितंबर में पटना, नोएडा और बेंगलुरु में कंपनी और उसके निदेशकों से संबंधित आठ परिसरों में तलाशी ली गई थी। तलाशी के दौरान निदेशक द्वारा आवासीय फ्लैट हासिल करने के लिए भुगतान की गई 72 लाख की अग्रिम राशि और बरामद सात लाख रुपये की नकदी को पीएमएलए (प्रिवेंशन आफ मनी लांड्रिंग एक्ट) के प्रविधानों के तहत जब्त कर लिया गया था।

इस मामले में ईडी ने कंपनी के निदेशकों द्वारा अर्जित 7.03 करोड़ रुपये की सीमा तक की तीन अचल संपत्तियों को अंतिम रूप से कुर्क किया था।

 


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