दिल्ली ब्लास्ट में NIA का बड़ा खुलासा, i20 कार के इंतजाम में शामिल चार डॉक्टर गिरफ्तार
New Delhi - राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने दिल्ली के लाल किले के बाहर 10 नवंबर को हुए घातक धमाके की जांच में एक महत्वपूर्ण सफलता हासिल की है। एनआईए ने इस मामले में चार नए आरोपियों को श्रीनगर से गिरफ्तार किया है। इन चारों की गिरफ्तारी से पता चलता है कि इनकी भूमिका आतंकी साजिश में बेहद प्रमुख थी। चौंकाने वाली बात यह है कि गिरफ्तार किए गए चारों आरोपी पेशे से डॉक्टर हैं, जिनमें से एक मुफ्ती का भी काम करता था। इन चारों ने ही ब्लास्ट में इस्तेमाल की गई i20 कार का इंतजाम किया, उसकी मूवमेंट तय की और उसे आतंकी मॉड्यूल तक सुरक्षित रूप से पहुंचाया था, जिससे विस्फोट की साजिश को अंजाम देना संभव हो सका।
कार मूवमेंट और लॉजिस्टिक्स में कोर ऑपरेशन
गिरफ्तार किए गए चारों आरोपियों की पहचान डॉ. मुजम्मिल शकील गनई (पुलवामा), डॉ. अदील अहमद राथर (अनंतनाग), डॉ. शाहीन सईद (लखनऊ), और मुफ्ती इरफान अहमद वागे (शोपियां) के रूप में हुई है। एनआईए के अनुसार, इन सभी ने मिलकर i20 कार को हासिल करने, उसे उपयोग के लिए तैयार रखने, उसकी आवाजाही (मूवमेंट) सुनिश्चित करने और अंततः आतंकी गुट तक पहुँचाने के कोर ऑपरेशन को संभाला था। जांच एजेंसी ने स्पष्ट किया है कि इन पेशेवरों ने इस आतंकवादी हमले में एक अहम और सक्रिय भूमिका निभाई थी, जिसमें कई निर्दोष लोग मारे गए थे और अन्य घायल हुए थे।
गिरफ्तारियों की संख्या बढ़कर छह हुई
इन चार नई गिरफ्तारियों के साथ ही, लाल किला धमाका मामले में कुल गिरफ्तार किए गए आरोपियों की संख्या अब छह हो गई है। एनआईए ने पटियाला हाउस कोर्ट के जिला सत्र न्यायाधीश के पेशी आदेश पर इन चारों नए आरोपियों को जम्मू और कश्मीर से हिरासत में लिया है। इससे पहले, जांच एजेंसी ने दो अन्य आरोपियों को गिरफ्तार किया था—पहला, आमिर राशिद अली, जिसके नाम पर विस्फोट में इस्तेमाल की गई कार पंजीकृत थी, और दूसरा, जसीर बिलाल वानी उर्फ दानिश, जिसने इस घातक हमले को अंजाम देने वाले आतंकवादी को तकनीकी सहायता प्रदान की थी।
आतंकी साजिश का पर्दाफाश और मौतें
यह जांच आरसी-21/2025/एनआईए/डीएलआई मामले के तहत चल रही है, जिसमें एनआईए पूरी आतंकी साजिश का पर्दाफाश करने के अपने प्रयासों में तेजी लाई है। 10 नवंबर को लाल किले के पास हुए इस भयानक धमाके में अब तक 15 निर्दोष लोगों की मौत हो चुकी है और कई अन्य घायल हुए थे। इन गिरफ्तारियों से जांच को नई दिशा मिली है, क्योंकि यह साफ हुआ है कि इस साजिश में पेशेवर और शिक्षित लोगों का एक नेटवर्क शामिल था, जिसने लॉजिस्टिक समर्थन प्रदान किया।
एनआईए ने कहा है कि जांच तेजी से आगे बढ़ रही है और हिरासत में लिए गए छह आरोपियों से लगातार पूछताछ की जा रही है। एजेंसी का मानना है कि पूछताछ के दौरान कई और अहम खुलासे हो सकते हैं, जिससे इस बड़े आतंकी मॉड्यूल के बाकी सदस्यों और फंडिंग स्रोतों का भी पता चल सकेगा। इन गिरफ्तारियों ने भारत की राजधानी में हुए एक बड़े हमले की जटिल कड़ियों को सुलझाने में महत्वपूर्ण प्रगति दर्ज की है।