Bihar Vidhansabha chunav 2025: नीतीश कुमार के पुराने साथी वृषिण पटेल ने उठाए सीएम की सेहत पर सवाल , कहा “अब फैसले नीतीश नहीं, कोई और ले रहा है”, वैशाली से निर्दलीय मैदान में उतरेंगे

Bihar Vidhansabha chunav 2025: वृषिण सिंह पटेल ने नीतीश कुमार की सेहत और राजनीतिक निर्णयों पर बड़ा बयान देकर नया विवाद खड़ा कर दिया है।

Bihar Vidhansabha chunav 2025
नीतीश कुमार के पुराने साथी वृषिण पटेल ने उठाए सीएम की सेहत पर सवाल- फोटो : reporter

Bihar Vidhansabha chunav 2025: बिहार की सियासत में एक बार फिर हलचल मच गई है। कभी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और लालू प्रसाद यादव के बेहद क़रीबी रहे वरिष्ठ नेता वृषिण सिंह पटेल ने नीतीश कुमार की सेहत और राजनीतिक निर्णयों पर बड़ा बयान देकर नया विवाद खड़ा कर दिया है।

वैशाली में मीडिया से बात करते हुए वृषिण पटेल ने कहा, “नीतीश कुमार की तबीयत ठीक नहीं है। जो तमाम फैसले लिए जा रहे हैं, वे उनके नहीं बल्कि दूसरों के हैं।” पटेल ने साफ़ शब्दों में कहा कि मौजूदा सरकार में जो कुछ हो रहा है, उसमें नीतीश की भूमिका सीमित नज़र आती है।

वृषिण पटेल, जो नीतीश कुमार की सरकार में शिक्षा मंत्री रह चुके हैं और सात बार वैशाली विधानसभा से विधायक रह चुके हैं, अब अपने पुराने साथी के खिलाफ ही चुनावी मैदान में उतरने जा रहे हैं। उन्होंने ऐलान किया है कि वे इस बार निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में वैशाली से नामांकन करेंगे।

पूर्व मंत्री ने कहा कि वे किसी पार्टी से निष्कासित नहीं हुए, बल्कि उन्होंने खुद पार्टी छोड़ी थी। उन्होंने याद दिलाया कि उन्होंने समता पार्टी बनाई थी, जिससे “14 सांसद चुने गए थे, जिनमें से आज 12 नहीं रहे सिर्फ मैं और नीतीश कुमार ज़िंदा हैं।”

अपने भतीजे सिद्धार्थ पटेल और कांग्रेस उम्मीदवार संजीव सिंह के खिलाफ चुनाव लड़ने के सवाल पर वृषिण पटेल ने कहा, “जैसे महाभारत में कौरव और पांडव एक ही परिवार के होते हुए भी आमने-सामने थे, वैसे ही लोकतंत्र की इस जंग में भी पारिवारिक रिश्ते और राजनीतिक मतभेद अलग-अलग हैं।”

सूत्रों के मुताबिक, वृषिण पटेल ने वैशाली विधानसभा क्षेत्र में हाल ही में एक कार्यकर्ता सम्मेलन आयोजित किया था, जिसमें बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए। उसी बैठक में कार्यकर्ताओं की मांग पर उन्होंने स्वतंत्र रूप से चुनाव लड़ने का फ़ैसला किया।बताया जा रहा है कि वृषिण पटेल आज हाजीपुर अनुमंडल कार्यालय में नामांकन दाख़िल करेंगे।

उनके इस निर्णय ने न सिर्फ़ जेडीयू के लिए परेशानी बढ़ा दी है, बल्कि वैशाली सीट को भी सियासी सुर्ख़ियों में ला खड़ा किया है। अब यह देखना दिलचस्प होगा कि नीतीश कुमार के पुराने साथी की यह ‘बग़ावत’ एनडीए के समीकरणों पर कितना असर डालती है।

रिपोर्ट- ऋषभ कुमार