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भागलपुर में ड्रेजिंग जहाज की चपेट में आने से 50 भैंस और दो लोग गंगा में डूबे, 6 युवकों की बाल बाल बची जान

भागलपुर में ड्रेजिंग जहाज की चपेट में आने से 50 भैंस और दो लोग गंगा में डूबे, 6 युवकों की बाल बाल बची जान

BHAGALPUR : भागलपुर के बरारी स्थिति विसर्जन घाट( मुसहरी घाट) से एक बड़ी घटना सामने आ रही है। जहाँ मुसहरी घाट में लगे ड्रेजिंग जहाज की चपेट में आ जाने से तकरीबन 45 से 50 भैंस गंगा में समा गई।  वही 8 युवक में छह युवक किसी तरह जान बचाकर बाहर निकले।  दो युवक अभी भी लापता है जिसकी खोजबीन चल रही है। स्थानीय गोताखोर और एसडीआरएफ की टीम उसे ढूंढने में लगी है। मुसहरी घाट  से प्रत्येक दिन भैंस चराने के लिए चरवाहा दक्षिणी भाग से उत्तरी भाग की ओर गंगा नदी पार कर जाया करते हैं।  इसी दरमियान आज ड्रेजिंग जहाज की पंखी की चपेट में आने से यह बड़ा हादसा हुआ।  जिसमें 45 से 50 भैंस डूब गई और दो व्यक्ति अभी भी गायब हैं। घटना की सूचना मिलते ही मौके पर बरारी थाना समेत कई थाना की पुलिस और भागलपुर के एसडीओ धनंजय कुमार ने मौके पर पहुंचकर घटना का जायजा लिया। देखते ही देखते पूरा विसर्जन घाट छावनी में तब्दील हो गया। ग्रामीणों का हुजूम सी लग गई। लापता चरवाहे की पहचान मायागंज के निवासी सिकंदर यादव और कारू यादव के रूप में हुई है।  8 चरवाहे में छह चरवाहे तो किसी तरह जान बचाकर मौत के मुंह से निकल गए।  लेकिन दो युवक सिकंदर यादव और कारु यादव अभी भी लापता हैं।  इसकी खोजबीन में एसडीआरएफ की टीम और स्थानीय गोताखोर लगे हुए हैं।

युवक बोला -मौत के मुंह से बाहर आया हूं

भैंस चराने जा रहे चरवाहा बरारी का रहने वाला धीरज किसी तरह जान बचाकर मौत के मुंह से बाहर निकला और लोगों से आपबीती बातें बताया।  यह सुनकर आपके भी होस उड़ जाएंगे। उन्होंने कहा मैं आज मौत के मुंह से बाहर निकला हूं।  मेरे सामने दो युवक गंगा में समा गए।  मेरे 5 साथी किसी तरह मेरे साथ गंगा से बाहर निकल पाए और 45 से 50 मवेशी गंगा में समा गई।  गंगा में तेज धार होने के चलते ड्रेजिंग जहाज की पंक्तियों में एक एक करके समाने लगे।  मुझे लगा मैं भी अब नहीं बच पाऊंगा लेकिन किसी तरह बच कर बाहर निकला हूं। 

एसडीओ ने कहा

भागलपुर की यह बड़ी घटना सुनते ही घटनास्थल पर एसडीओ धनंजय कुमार पहुंचे और तुरंत एसडीआरएफ की टीम को बुलाया गया।  वहीँ एसडीआरएफ की टीम के साथ स्थानीय गोताखोरों ने डूबे दो युवक सिकंदर यादव और  कारू यादव को ढूंढने का कार्य प्रारंभ कर दिया।  साथ ही उन्होंने सांत्वना दिया कि जल्द दोनों को ढूंढ कर परिजनों को सौंप दिया जाएगा।  साथ ही साथ खुद से मॉनिटरिंग करते हुए गंगा के तेज धार में एसडीआरएफ के वोट के सहारे निरीक्षण भी किया।  उन्होंने बताया यह घटना काफी दुखद है।  थोड़ी सी लापरवाही के चलते इतनी बड़ी घटना घटित हुई। 

परिजनों का रो रो कर बुरा हाल

लापता युवक सिकंदर यादव और कालू यादव के परिजनों का रो रो कर बुरा हाल है।  उनका कहना है की वर्षों से भैंस लेकर उस पार चारा खिलाने के लिए जाया करता था। लेकिन आज इतनी बड़ी घटना बर्दाश्त से बाहर हो रहा है। प्रशासन से गुहार लगाते हुए उनके परिजनों ने कहा जल्द से जल्द हमारे बच्चे को मेरे पास लाया जाए। परिजनों में सभी सदस्यों का रो रो कर बुरा हाल है। 

प्रत्यक्षदर्शी ने कहा- मैं तो लूट गया

प्रत्यक्षदर्शी प्रदीप यादव ने कहा कि हमलोग पशुओं को चारा खिलाने के लिए दियारा लेकर जा रहे थे। तभी जाने के क्रम में पानी की धार काफी तेज थी जिसके कारण नाउ वहां पर रुकी और जहाज से टकरा गया और मेरे नजरों के सामने तकरीबन 22 भैंस गंगा में समा गई। 

भागलपुर से बालमुकुन्द की रिपोर्ट

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