राजद MLA भोला यादव को हिरासत में लिये जाने के बाद जमानत, कोर्ट के फैसले पर की थी टिप्पणी

RANCHI/PATNA : लालू यादव की परछाईं के रूप में मशहूर
राजद विधायक भोला यादव पर कोर्ट की अवमानना मामले में कार्रवाई हुई। कोर्ट के फैसले
के खिलाफ टिप्पणी पर उनके खिलाफ वारंट निर्गत हुआ था। शुक्रवार को वे कोर्ट में पेश
हुए इसके बाद न्यायाधीश ने उनको जुडिसियल कस्टडी में लेने का आदेश दिया। भोला यादव
को जमानत लेने के लिए एक लाख रुपये का बांड भरना पड़ा। बांड भरने के बाद उन्हें
जमानत मिल गयी।
चारा घोटाला मामले
में सीबीआइ के स्पेशल जज शिवपाल सिंह ने दुमका कोषागार अवैध निकासी मामले में लालू
यादव को 7-7 साल की सजा सुनायी थी। 24 मार्च को ये फैसला आया था। इसके बाद 28
मार्च को भोला यादव ने मीडिया के एक सवाल के जवाब में कोर्ट के फैसले को दुर्भावना
से ग्रसित बताया था। भोला यादव ने बयान दिया था कि कोर्ट के कई ऑब्जर्वेशन मनगढंत
बनाये गये है और ये फैसला दुर्भावना से ग्रसित है। भोला यादव के इस बयान को जस्टिस
शिवपाल सिंह ने गंभीरता से लिया और उनके खिलाफ वांरट जारी कर दिया था। इसी मामले
में भोला यादव आज कोर्ट में पेश हुए जिसके बाद उन्हें जमानत मिल गयी।
भोला यादव बहुत समय
से लालू यादव के साथ हैं। वे ज्यादातर समय लालू यादव के साथ ही रहते हैं और उनकी
देखभाल में लगे रहते हैं। इससे खुश हो कर लालू ने भोला को पहले MLC बनाया। फिर वे बहादुरपुर से राजद के विधायक बने। लालू यादव जेल जाएं या जेल से बाहर आएं
वे साये की तरह उनके साथ रहते हैं। लालू यादव जब जेल में थे तब भोला यादव रोज फल
और ताजी सब्जी उनको पहुंचाते थे। भोला यादव, लालू यादव के सबसे बड़े विश्वासपात्र
हैं। इस लिए लालू यादव को जब सबसे बड़ी सजा सुनायी गयी तो वे
भावनाओं को काबू में नहीं रख सके।