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शक्ति सिंह गोहिल की खुल गई पोल,बिहार कांग्रेस प्रभारी के बयान को उनके ही दल के वरिष्ठ नेता ने निकाल दी हवा ! जानिए...

शक्ति सिंह गोहिल की खुल गई पोल,बिहार कांग्रेस प्रभारी के बयान को उनके ही दल के वरिष्ठ नेता ने निकाल दी हवा ! जानिए...

PATNA: बिहार में आगामी विधान सभा चुनाव से पहले महागठबंधन के भीतर को-ऑडिनेशन कमिटी बनाने को लेकर जंग छिड़ी है।गठबंधन की छोटी पार्टियां हर हाल में को-ऑडिनेशन कमिटी बनाने की मांग कर रही है।लेकिन सबसे बडा दल राजद इसे सिरे से खारिज करते रहा है।कांग्रेस की तरफ से भी समय-समय पर महागठबंधन के भीतर को-ऑडिनेशन कमिटी बनाने की मांग जोर-शोर से उठते रही है।इसी बीच बिहार कांग्रेस प्रभारी शक्ति सिंह गोहिल ने कह कर सबको चौंका दिया कि महागठबंधन में को-ऑडिनेशन बन गई है।दिल्ली में सभी घटक दल के नेताओं से बातचीत हो गई है और सबकुछ पटरी पर आ चुका है।लेकिन बिहार कांग्रेस प्रभारी गोहिल के इस बयान को उनकी ही पार्टी के नेता ने हवा निकाल दी है।यूं कहें कि शक्ति सिंह गोहिल की को-ऑडिनेशन पर दिए बयान की पोल खोल कर रख दी है।

पूर्व प्रदेश अध्यक्ष ने को-ऑडिनेशन कमेटी की उठाई मांग

बिहार कांग्रेस प्रभारी शक्ति सिंह गोहिल एक तरफ कहते हैं कि महागठबंधन में को-ऑडिनेशन कमेटी बन गई है,वहीं उनकी ही पार्टी के नेता कहते हैं कि महागठवन्धन के घटक दलों के बीच बेहतर समन्वय के लिए "कोर्डिनेशन कमेटी बननी चाहिए।बिहार कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व प्रदेश अध्यक्ष अनिल कुमार शर्मा ने कहा है कि बिहार विधानसभा चुनाव में महागठवन्धन की पार्टियों के बीच आपसी तालमेल को मजबूत करने और सीटों के न्याय संगत बंटवारे के लिए समन्वय समिति का गठन अतिआवश्यक है।समन्वय समिति के गठन में हो रहे विलंब के कारण चुनाव की तैयारी को गति देने में कठिनाई हो रही है। 

कांग्रेस पार्टी जल्द कराए निर्णय

उन्होंने आगे कहा है कि कांग्रेस विधायक दल के नेता सदानन्द सिंह और हम के अध्यक्ष जीतनराम माँझी सहित महागठवन्धन के दूसरे घटक दलों की मांग के बाबजूद पता नहीं क्यों राजद कोर्डिनेशन कमेटी बनाने के निर्णय को टालती जा रही है।काँग्रेस को यह निर्णय जल्द कराना चाहिए। अनिल शर्मा ने आगे कहा है कि पूर्व का भी अनुभव रहा है कि राजद अपने अनुकूल सीटों पर तो पहले से तैयारी कर रही होती है और चुनाव के तिथि की घोषणा के  बावजूद गठबंधन के दलों के बीच सीटों के आवंटन को लेकर भ्रम की स्थिति बनाये रखती है, जिसके चलते घटक दलों को चुनाव में नुकसान होता है।

गोहिल की खोल दी पोल

8 अगस्त को पटना पहुंचे बिहार कांग्रेस प्रभारी शक्ति सिंह गोहिल ने को-ऑडिनेशन को लेकर साफ-साफ कहा था कि इसका मामला सुलझ गया है।9 अगस्त को गोहिल यह बात दुहराई कि को-ऑडिनेशन पर सबकुछ ठीक हो गया है और सभी दलों के बीच इस पर बात बन गई है।लेकिन  गोहिल के उलट उकी ही पार्टी के वरिष्ठ नेता एक बार फिर से को-ऑडिनेशन कमेटि की मांग दुहरा रहे हैं।मतलब साफ है कि शक्ति सिंह गोहिल कहीं न कहीं को-ऑडिनेशन को लेकर हवा बनाने में लगे हैं,लेकिन हकीकत कुछ और ही है।

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