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Bihar Crime News : सरकारी नौकरी दिलाने के नाम पर की गई करोड़ों की ठगी, इस तरह युवा बेरोजगारों को लगाते थे चूना

Bihar Crime News : सरकारी नौकरी दिलाने के नाम पर की गई करोड़ों की ठगी, इस तरह युवा बेरोजगारों को लगाते थे चूना

सुपौल। (Bihar Crime News) : जिले से बड़ी खबर सामने आ रही > है जहां  के त्रिवेणीगंज   फर्जी  नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी करने वाले गिरोह का पर्दाफाश किया है। हालांकि गिरोह मुख्य सरगना  अभी फरार हैं। वहीं पुलिस ने  गिरफ्तार युवकों के पास  एक स्मार्ट फोन और कई कागजात  बरामद किया है।

 दरअसल मामला तब उजागर हुआ जब ठगी के शिकार लोगों ने अनुमंडल पदाधिकारी को लिखित आवेदन देकर ठगी करने वाले लोगों की मोबाइल नंबर व  संस्था की जांच की गुहार लगाई थी। जब उस मोबाइल नंबर काॅल डिटेल निकाली कई तो करोड़ों रुपये लोगों से नौकरी के नाम लिए जाने की बात सामने आई। ठगी करने का गिरोह के सदस्य का पहचान त्रिवेणीगंज अनुमंडल क्षेत्र के गोनाहा पंचायत वार्ड नम्बर 1 के बीरेन्द्र सरदार की पुत्र राहुल कुमार सरदार जो योगेन्द्र बिद्या निकेतम कोचिंग सेन्टर चलाते हैं, जो अपने मोबाइल नंबर 620009429 से लोगों से मास्टर और कोडिनेटर बनाने के नाम पर 35000 हजार ठगी करते हैं, परिजनों का आरोप है कि 35000 में फेनल करते हैं 10000 हजार पहले लिया करते, जो पैसा दीपक कुमार के बैंक खाता नम्बर 20422896790 में  जमा करने की बात कहते। जिसका भनक एसपी मनोज कुमार लग गई एसपी ने मोबाइल नम्बर और खाता संख्या खंगाला  इन शिकायतों कि जांच कने के लिए अनुमंडल प्रशासन  ने छापेमारी की और गिरोह के ठग को गिरफ्तार किया।

 आरोपी की पहचान मोबाइल नंबर से राहुल कुमार रूप में हुआ आरोपी ने खुद अपना जुर्म कबूल किया हैं इस आरोपी के मुख्य सरगना अभी फरार है। उनकी तलाश में पुलिस छापेमारी कर रही है। ठगी करने वाले गिरोह गिरफ्तार होने पर कई आवेदन देकर ठगी गई रूपये वापसी दिलाने की मांग की है।  खाता संख्या जांच में सामने आया है कि आरोपी अभी तक 200 से ज्यादा लोगों से ठगी कर चुके हैं। 

एसडीएम ने बताया कि आरोपी राहुल कुमार  बड़ी कंपनियों में नौकरी लगवाने का प्रचार करते थे और कंपनियों के बड़े अधिकारियों से अपनी जान पहचान बताकर लोगों को झांसे में लेते थे। फिर नौकरी के नाम पर बेरोजगारी से दो किस्त में पैसे लेते थे। पहली किस्त में 10000 और दूसरी किस्त में 25000 रुपये लेते थे। इसके बाद अपना मोबाइल नंबर पर ही लेनदेन करते है, जिसको गिरफ्तार कर थाना को सौंप दिया गया है

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