पटना: पटना से बेतिया भाया बाकरपुर, मानिकपुर, साहेबगंज, केसरिया, अरेराज नये राष्ट्रीय उच्च पथ को अब एनएच 139W के नाम से जाना जायेगा। सूबे में राष्ट्रीय राजमार्गों के नेटवर्क में और सुदृढीकरण करते हुए केंद्रीय सडक परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने इस बारे में अधिसूचना जारी की है। अधिसूचना जारी होने के बाद सूबे के पटना, सारण, वैशाली, मुजफ्फरपुर, पूर्वी व पश्चिमी चंपारण जिलों को सीधा लाभ होगा। इस परियोजना के द्वारा वैशाली, अरेराज की सबसे कम दूरी की संपर्कता विकसित हो जायेगी। इससे पर्यटक व पुरातात्विक महत्व के अहम स्थानों पर पटना से कम से कम समय में आवागमन संभव हो सकेगा।
ज्ञात हो कि राज्य सरकार द्वारा बाकरपुर से मानिकपुर, मानिकपुर से साहेबगंज व साहेबगंज से अरेराज पथांश में फोर लेन पथ के निर्माण के लि भू-अर्जन की कार्रवाई पूर्व से ही प्रारंभ कर दी है, जो अभी अंतिम चरण में है। अरेराज से बेतिया पथांश के भू-अर्जन की कार्रवाई अब आरंभ की जायेगी। इस अधिसूचना के जारी होने के बाद पटना से जेपी सेतु के समानांतर नये फोर लेन पुल के निर्माण का रास्ता साफ हो गया है। इस पथ के एनएच घोषित होते ही जेपी सेतु के समानांतर नये फोर लेन का निर्माण कार्य प्रारंभ किया जायेगा। राज्य सरकार द्वारा पटना से बाकरपुर तक फोर लेन पुल निर्माण व पहुंच पथ के लिए 60 मीटर चौडाई में भूमि अर्जन पहले से ही कर रखा है। ऐसे में उम्मीद है कि अगले कुछ माह में जेपी सेतु के समानांतर नये पुल का निर्माण प्रारंभ हो सकेगा।
इस एचएच के माध्यम से पटना से बेतिया की दूरी दो सौ किलोमीटर कम हो जायेगी। फोर लेन निर्माण कार्य पूर्ण होने से पटना से बेतिया की केवल 2.5 घंटे में आवागमन संभव होगा। इस पथ में चार लेन चौडीकरण हो जाने से पटना से बेतिया के रास्ते बाल्मिकी नगर तक सुगम संपर्कता हो सकेगी। ज्ञात हो कि राज्य सरकार बाल्मिकी नगर को इको टुरिज्म के रूप में विकसित कर रही है। सूबे के पथ निर्माण विभाग के मंत्री नीतीन नवीन ने इस पर हर्ष व्यक्त करते हुए केंद्र सरकार के प्रति आभार व्यक्त किया है। उन्होंने भू-अर्जन का कार्य शीघ्र पूर्ण कर अतिशीघ्र निर्माण कार्य प्रारंभ करने के लिए कदम उठाने की अपेक्षा की है। वहीं विभाग के अपर मुख्य सचिव अमृत लाल मीणा ने बताया कि जेपी सेतु के समानांतर नये फोर लेन निर्माण हेतु डीपीआर गठन का कार्य सीएम के निर्देश पर पूर्व से ही बिहार राज्य पुल निर्माण निगम द्वारा कर लिया गया है। अब इस डीपीआर को शीघ्र केंद्र सरकार को भेज कर स्वीकृति प्राप्त करते हुए कार्यारंभ कराने की दिशा में कदम उठाया जायेगा।