17वीं लोकसभा के पहले सत्र की शुरुआत हो चुकी है और सत्र के पहले दिन नवनिर्वाचित सांसदों को शपथ दिलाई गई। इस दौरान कई सांसदों ने हिन्दी के अलावा अन्य भाषाओं में शपथ ग्रहण की। हालाकि भोजपुरी में शपथ लेने की इच्छा धरी की धरी रह गई।
बिहार के सांसदों ने भी मैथली और हिन्दी में शपथ ली। लेकिन जब महाराजगंज से बीजेपी सांसद जर्नादन सिंह सिग्रीवाल ने भोजपुरी में शपथ लेने की इच्छा जताई तो उन्हें इसकी इजाजत नहीं दी गई, जिसके बाद उन्हें हिन्दी में शपथ लेनी पड़ी।
सिग्रीवाल के अलावा छपरा से बीजेपी के ही राजीव प्रताप रूडी भी भोजपुरी में शपथ लेना चाहते थे लेकिन उन्हें भी हिन्दी में शपथ लेनी पड़ी। इस पर रूडी ने प्रोटेम स्पीकर को संबोधित करते हुए कहा कि अध्यक्ष जी बड़ी चिंता का विषय है, भोजपुरी में शपथ लेने की व्यवस्था नहीं है।
बता दें कि भोजपुरी में सांसदों के शपथ लेने की मांग को लोकसभा महासचिव ने खारिज कर दिया। उन्होंने बताया कि भोजपुरी भाषा संविधान की 8वीं अनुसूची में शामिल नहीं है, ऐसे में कोई सांसद भोजपुरी में शपथ नहीं ले सकता। बिहार के कुछ सांसद ने मैथिली में शपथ ली क्योंकि यह भाषा 8वीं अनुसूची का हिस्सा है। दरभंगा से बीजेपी के सांसद गोपालजी ठाकुर और मधुबनी से अशोक यादव ने मैथिली में शपथ ली।