बिहार उत्तरप्रदेश मध्यप्रदेश उत्तराखंड झारखंड छत्तीसगढ़ राजस्थान पंजाब हरियाणा हिमाचल प्रदेश दिल्ली पश्चिम बंगाल

LATEST NEWS

राज्यसभा में कल होगी नागरिकता संशोधन बिल पर चर्चा, मोदी सरकार को टेंशन नहीं...जानिए RS के समीकरण

राज्यसभा में कल होगी नागरिकता संशोधन बिल पर चर्चा, मोदी सरकार को टेंशन नहीं...जानिए RS के समीकरण

नागरिकता संशोधन विधेयक को सत्ताधारी भारतीय जनता पार्टी ने लोकसभा में आसानी से पास करवा लिया। लोकसभा में बीजेपी के पास खुद अकेले दम पर बहुमत है। इस विधेयक पर वोटिंग के दौरान बीजेपी के 303 लोकसभा सदस्यों समेत कुल 311 सासंदों का समर्थन हासिल हुआ जबकि विपक्ष में सिर्फ 80 वोट पड़े।


अब राज्यसभा में इस विधेयक को रखा जाना है। जहां से पास होने की स्थिति में ही यह क़ानून की शक्ल लेगा। राज्यसभा की कार्यवाही की सूची के मुताबिक बुधवार को दोपहर 2 बजे इस बिल पर चर्चा होनी है। राज्यसभा में इस बिल पर चर्चा का समय 6 घंटे के लिए अलॉट किया गया है। चर्चा के बाद जब यह बिल राज्यसभा से पारित किया जाना होगा तब मोदी सरकार की असल परीक्षा होगी।

नागरिक संशोधन बिल के पक्ष में जेडीयू, शिवसेना, बीजेडी और पूर्वोत्तर के कुछ दलों के साथ आने की वजह से लोकसभा में तो सरकार को इस बिल को पास कराने में कोई दिक्कत नहीं हुई। लेकिन शिवसेना प्रमुख और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने राज्यसभा में समर्थन देने के लिए शर्त रखकर फिलहाल मुसीबत बढ़ा दी है। लेकिन अगर राज्यसभा का दलगत आंकड़ा देखें तो मोदी सरकार इसे आसानी से पास करा सकती है।

बता दें कि राज्यसभा में कुल सदस्य 245 हैं। लेकिन फिलहाल पांच सीटें रिक्त हैं। जिसके चलते राज्यसभा में कुल सदस्यों की संख्या 240 है।इसका मतलब यह है कि बिल के लिए अगर सदन के सभी सदस्य मतदान करें तो बहुमत के लिए 121 वोट की जरूरत पड़ेगी।

राज्यसभा में नागरिक संशोधन बिल पास कराने के लिए मोदी सरकार को जितने सांसदों के वोट चाहिए उससे काफी ज्यादा संख्या में सांसद उनके पक्ष में वोट कर सकते हैं। आपको बता दें कि राज्यसभा में बीजेपी के 83, जेडीयू के 6, एआईएडीएमके के 11, बीजेडी के 7, एसएडी के 3, आरपीआई के 1, एलजेपी के 1, वाईएसआर कांग्रेस के 2, टीडीपी के 2, एजीपी के 1, बीपीएफ के 1, एनपीएफ के 1, एसडीएफ के 1, नॉमिनेटेड 3 सदस्य, निर्दलीय एवं अन्य 4 सदस्यों के साथ कुल 127 सांसद हैं जो बिल के पक्ष में वोट कर सकते हैं।

वहीं जो दल इस बिल का विरोध कर रहे हैं राज्यसभा में उनकी कुल संख्या सिर्फ 113 ही है।बिल के विरोध में कांग्रेस के 46, टीएमसी के 13, एनसीपी के 4, सपा के 9, आप के 3, बसपा के 4, सीपीआई के 1, सीपीएम के 5, डीएमके के 5, आईयूएमएल के 1, पीडीपी के 2, जेडीएस के 1, केरल कांग्रेस एम के 1, एमडीएमके के 1, पीएमके के 1, आरजेडी के 4, शिवसेना के 3, टीआरएस के 6, 1 नॉमिनेटेड सदस्य और 2 निर्दलीय एवं अन्य के साथ कुल 113 सांसद हैं।


Suggested News