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बिग ब्रेकिंग...... क्या मुख्यमंत्री नीतीश के इशारे पर डिप्टी सीएम ने किया ट्वीट ? सुशील मोदी के इस ट्वीट से पटना से लेकर दिल्ली तक के बीजेपी नेता हैरान

बिग ब्रेकिंग...... क्या मुख्यमंत्री नीतीश के इशारे पर डिप्टी सीएम ने किया ट्वीट ? सुशील मोदी के इस ट्वीट से पटना से लेकर दिल्ली तक के बीजेपी नेता हैरान

PATNA: मंगोलिया से लौटते हीं सुशील मोदी के द्वारा किए गए एक ट्वीट ने न सिर्फ बिहार की सियासत में बल्कि बीजेपी के पटना से लेकर दिल्ली दरबार तक को हिला कर रख दिया है।बीजेपी का शीर्ष नेतृत्व एक मायने में कहें तो भौंचक है।...आखिर हो भी क्यों नहीं जब बिहार बीजेपी का शीर्ष नेता और उप मुख्यमंत्री सुशील मोदी ने हीं नेतृत्व के नाम पर खुद हीं नीतीश के सामने सरेंडर कर दिया।बड़ा सवाल यह है कि मंगोलिया से लौटते हीं आखिर सुशील मोदी ने यह ट्वीट क्यों किया ... जिसमें सीधे तौर पर यह कहा गया कि नीतीश कुमार के नेतृत्व पर विचार करने की जरुरत हीं नहीं है।

अब जरा जेडीयू के नए नारे पर नजरें इनायत कर लीजिए..जदयू का नारा है क्यूं करे विचार जब हैं हीं नीतीश कुमार.....अब थोड़ा दिमाग पर जोर डालिए..क्या मंगोलिया से लौटे सुशील मोदी ने जदयू का नारा कहीं पढ़ लिया या फिर पहले से तैयार बैठे थे कि इस नारे से ठीक मिला-जुला ट्वीट  नीतीश कुमार के पक्ष में करना है।क्यों कि उन्हें पता था कि बिहार बीजेपी के कुछ वरिष्ठ नेता नीतीश के नेतृत्व पर सवाल उठा रहे हैं...लेकिन सवाल यहां भी उठ रहा है कि विदेश से लौटे सुशील मोदी को इस ट्वीट की इतनी जल्दी क्यों थी....

पार्टी के अंदरूनी सूत्रों का यह कहना है कि क्या सुशील मोदी ने कभी अपने पीएम मोदी के लिए इस तरह का ट्वीट किया है कि मोदी जी पूरे विश्व में चौका-छक्का मार रहे हैं।इस तरह की भाषा का प्रयोग अपने हीं कार्यकर्ताओं के मनोबल को तोड़ने के लिए किया जा रहा है...क्या बिहार बीजेपी में इतनी क्षमता नहीं कि वो बिहार को मुख्यमंत्री दे सके।फिर सुशील मोदी ऐसा ट्वीट क्यों कर रहे हैं।बीजेपी नेता अब यह खुलेआम चर्चा कर रहे कि कहीं नीतीश कुमार के कहने पर या उनको खुश करने के लिए सुशील मोदी ने ट्वीट किया है।पार्टी के नेता यह भी चर्चा कर रहे हैं कि क्या मोदी जी सीएम नीतीश के पक्ष में ट्वीट करने से पहले अपने शीर्ष नेतृत्व से राय ले लिया था.....चर्चा तो यह भी है कि डिप्टी सीएम ने पहले नीतीश कुमार के पक्ष में ट्वीट किया और फिर सीएम हाऊस में मीटिंग के लिए गए....

पार्टी नेताओं का मानना है कि यह सुशील मोदी की मानसिकता को दोहराता है और वे बिहार बीजेपी को किसी भी कीमत पर नीतीश की छाया से निकने नहीं देना चाहते हैं।वहीं बीजेपी नेताओं ने अंदरूनी तौर पर यह भी कहा कि सुशील मोदी अपने उप मुख्यमंत्री की कुर्सी नीतीश के नेतृत्व में सुरक्षित रखना चाहते हैं।

बिहार बीजेपी के कुछ वरिष्ठ नेताओं ने इतना तक कहा है कि एक मात्र सुशील मोदी की वजह से बिहार बीजेपी हमेशा नीतीश के सामने सरेंडर की मुद्रा में रहने को विवश है।सूत्रों की मानें तो कि इस मुद्दे पर बिहार बीजेपी नेताओं को बयान देने के लिए मना कर दिया गया है।कहा तो यह भी जा रहा है कि बिहार बीजेपी के प्रदेश उपाध्यक्ष मिथिलेश तिवारी ने हरी झंडी के बाद हीं मुंह खोला है।बताया जा रहा है कि बीजेपी के प्रदेश उपाध्यक्ष मिथिलेश तिवारी ने पार्टी के नेताओं-कार्यकर्ताओं की मनोभावना को प्रकट किया है।बता दें कि बीजेपी दफ्तर में मिथिलेश तिवारी ने सुशील मोदी के बयान को एक तरह से खारिज कर दिया था।  

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