NEW DELHI : पर्यावरण के क्षेत्र में ऐतिहासिक कदम उठाने के लिए संयुक्त राष्ट्र ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को चैंपियंस ऑफ अर्थ के खिताब से सम्मानित किया। राजधानी दिल्ली में हुए कार्यक्रम में बुधवार को यूएन चीफ एंटोनियो गुटेरेस ने प्रधानमंत्री को सम्मानित किया। उन्हें ये पुरस्कार ‘पॉलिसी लीडरशिप’ के कैटेगरी में दिया गया है। इस अवसर पर मोदी ने 2022 तक प्लास्टिक से मुक्ति का संकल्प लिया।
कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि भारत हमेशा प्रकृति को मां के रूप में देखता है। उन्होंने कहा कि ये भारत के आदिवासी, किसान और मछुआरों का सम्मान है। इन सभी के लिए भी जीवन प्रकृति के अनुसार ही चलता है। PM ने कहा कि ये भारत की नारी का सम्मान है, जो पौधों का ख्याल रखती हैं।
प्रधानमंत्री ने कहा कि क्लाइमेट और कैलामिटी का संबंध सीधा कल्चर से है। ऐसे में हमें क्लाइमेट जस्टिस को सुनिश्चित करना होगा। हम पेड़ पौधे की पूजा करते हैं और मौसम को त्योहार की तरह मनाते हैं, इसलिए ये सुनिश्चित करना हमारे लिए आसान है। प्रकृति पर ज्यादा दबाव नहीं डाल सकते। उन्होंने कहा, देश तेजी से विकास करना चाहता है। हमारा किसी से मुकाबला नहीं है, लेकिन प्रकृति के लिए हमें बहुत कुछ करना है।
मोदी का संकल्प
पीएम ने साल 2022 तक एक बार इस्तेमाल किए जाने वाले प्लास्टिक से मुक्ति का संकल्प लिया है। मोदी ने कहा कि घर, गली, मेट्रो से लेकर एयरपोर्ट तक पानी बचाना है। एलईडी बल्ब से रेन वाटर हार्वेस्टिंग तक को बढ़ावा दिया जा रहा है।