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जानिए महान गणितज्ञ वशिष्ठ नारायण सिंह के बारे में.... कैलिफॉनिया विवि से गणित में पीएचईडी की ली थी डिग्री

जानिए महान गणितज्ञ वशिष्ठ नारायण सिंह के बारे में.... कैलिफॉनिया विवि से गणित में पीएचईडी की ली थी डिग्री

PATNA: महान गणितज्ञ वशिष्ठ नारायण सिंह का आज यानि 14 नवंबर को निधन हो गया है।उनका जन्म 2 अप्रैल 1942 को भोजपुर जिले के बसंतपुर गांव में हुआ था। वे बचपन से कुशाग्र बुद्धि के बालक थे।उन्होंने बर्कली के कैलिफॉनिया विवि से 1969 में गणित में पीएचडी की डिग्री ली थी।

1962 में पास की थी मैट्रिक की परीक्षा

वशिष्ठ नारायण सिंह ने सन् 1962 बिहार में मैट्रिक की परीक्षा उत्तीर्ण की।पटना सायंस कॉलेज में पढते हुए उनकी मुलाकात  अमेरिका से पटना आए प्रोफेसर कैली से हुई थी। उनकी प्रतिभा से प्रभावित हो कर प्रोफेसर कैली ने उन्हे बरकली आ कर शोध करने का निमंत्रण दिया। 1963 में वे कैलीफोर्निया विश्वविद्यालय में शोध के लिए गए। 1969 में उन्होने कैलीफोर्निया विश्वविघालय में पी.एच.डी. प्राप्त की। चक्रीय सदिश समष्टि सिद्धांत पर किये गए उनके शोध कार्य ने उन्हे भारत और विश्व में प्रसिद्ध कर दिया। 

गणितज्ञ वशिष्ठ नारायण सिंह अपनी पढाई खत्म करने के बाद कुछ समय के लिए भारत आए, मगर जल्द ही वे अमेरिका वापस चले गए। इस बार उन्होंने वांशिगटन के प्रोफेसर के पद पर काम किया।1971 में वे भारत वापस लौट गए। उन्होंने  भारतीय प्रोद्धोगिकी संस्थान कानपुर और भारतीय सांख्यिकी संस्थान कोलकाता में काम किया।

वंदना रानी से 1973 में हुई थी शादी

1973 में उनका विवाह वन्दना रानी के साथ हुआ। 1974 में उन्हे मानसिक दौरे आने लगे। उनका राँची में इलाज हुआ। लम्बे समय तक वे गायब रहे फिर एकाएक वे मिल गये। उन्हें बिहार सरकार ने ईलाज के लिएं वेंगलुरू भेजा था। लेकिन बाद में ईलाज का खर्चा देना सरकार ने बंद कर दिया।

 विधान परिषद की आश्वासन समिति ने 12 फ़रवरी 2009 को पटना में हुई अपनी बैठक में डॉ॰ सिंह को इलाज के लिए दिल्ली भेजने का निर्णय लिया  था। समिति के फैसले के आलोक में भोजपुर जिला प्रशासन ने उन्हें रविवार दिनांक 12 अप्रैल 09 को दिल्ली भेजा.उनके साथ दो डॉक्टर भी भेजे गये थे। 

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