कटिहार: सरकार ने आंगनबाड़ी योजना की शुरूआत गरीब बच्चों को सहायता पहुंचाने के लिए की थी. समय के साथ आंगनबाड़ी बच्चों के लिए काफी सहायक साबित होती गई. लगातार आंगनबाड़ी में नई सुविधाएं जोड़ी जाती है जिससे बच्चे स्कूल आएं. कटिहार में बच्चों को मिलने वाली पोशाक राशि की जगह कहीं बच्चों को रेडीमेड पोशाक मुहैया कराई जा रही है तो कहीं नकद रूपए दिए जा रहे है.
हालांकि आंगनबाड़ी केन्द्रों का कहना है की इसमे बच्चों के लिए सहूलियत है. इस बात को तर्क के साथ बताते हुए सेविका ने कहा है की गरीब क्षेत्र होने के कारण यहां पोशाक राशि को पेरेंट्स दूसरे कामों में खर्च कर देते है.साथ ही केंद्र प्रवेक्षिका ने कहा है की यह सही नहीं है और नियम के अनुसार नहीं है लेकिन इसमे बच्चों की भलाई है.हालांकि इसका एक पहलू यह भी हो सकता है की बच्चों को सहूलियत के नाम पर केंद्र अपनी कमीशन बना रहा हो.
परिजनों को भले ही इससे एतराज ना हो लेकिन विभाग के लिए इस मामले को देखना जरूरी है ताकी सरकार की नियमों को ताख में रखकर कहीं कोई कमीशनखोरी का खेल ना हो.