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लालू यादव की आज बढ़ेगी टेंशन... यादव वोट बैंक में सेंधमारी के लिए भाजपा का मोहन प्लान अब करेगा राजद को परेशान, लगा सकता है बड़ा झटका

लालू यादव की आज बढ़ेगी टेंशन... यादव वोट बैंक में सेंधमारी के लिए भाजपा का मोहन प्लान अब करेगा राजद को परेशान, लगा सकता है बड़ा झटका

पटना. बिहार की सियासत में पिछले 30 वर्षों से ज्यादा समय से पूरी राजनीति लालू यादव के इर्द गिर्द सिमटी दिखती है. वहीं लालू यादव बिहार की सियासत के नायक बने हैं तो इसका बड़ा कारण उनके साथ चट्टानी एकता के रूप में खड़ा यादव वोटर है. लेकिन लालू की इसी ताकत को कमजोर करने के लिए अब भाजपा ने बिहार के लिए 'मोहन प्लान' तैयार किया है. गुरुवार को पटना में इसी मोहन प्लान की पहली झलक भी देखने को मिलेगी. दरअसल, राजद को चुनावों में बड़ा झटका देने के लिए भाजपा के मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव को बिहार में यादवों को रिझाने के लिए एक चेहरे के रूप में इस्तेमाल करने की योजना बनाई है. राजद को चुनावों में जोरदार झटका देने की योजना के तहत अब मोहन यादव का बिहार दौरा बेहद खास होने की उम्मीद है.  श्री कृष्ण चेतना विचार मंच की ओर से आयोजित कार्यक्रम में मोहन यादव शिकरत करेंगे. पटना के कृष्ण मेमोरियल हॉल में आयोजित इस कार्यक्रम में मुख्य रूप से यादव बिरादरी से बड़ी संख्या में लोगों की भीड़ जुटने की संभावना है. 

बिहार की राजनीति को जिस जाति की राजनीति के लिए जाना जाता है, उसमें मोहन यादव भाजपा के तुरुप के पत्ते साबित हो सकते हैं. बीजेपी की नजर बिहार के 14.26 फीसद यादवों पर है. यादवों की अहमियत इसी से साबित होती है कि नीतीश कैबिनेट में 31 मंत्रियों में से 7 यादव समुदाय से हैं. यादव समुदाय से आने वाले मंत्रियों के पास सरकार के 10 बड़े विभाग हैं. बिहार में विधानसभा की 243 सीटें हैं, जिसमें 52 विधायक यादव समुदाय से हैं. लोकसभा की 40 में से 5 सांसद भी यादव समुदाय के हैं. केंद्र में नित्यानंद राय यादव समुदाय से मंत्री भी हैं. अब इसी यादव बिरादरी को अपनी धुन पर नचाने की जिम्मेदारी भाजपा मोहन यादव के सहारे ढूंढ रही है. छले महीने जब मध्य प्रदेश में मोहन यादव को मुख्यमंत्री बनाया गया तब से ही भाजपा ने इन बातों को जोरशोर से उठाया कि यादवों को उचित सम्मान देने वाली पार्टी भाजपा है. जैसे मध्य प्रदेश में मोहन यादव को पार्टी ने सबसे बड़े पद पर बैठाया है, वैसे ही आने वाले समय में बिहार में भी यादवों का भला भाजपा से जुड़ने में होगा. इसे लेकर नित्यानंद राय, राम कृपाल यादव, नंद किशोर यादव, नवल किशोर यादव जैसे कई भाजपा नेताओं ने हाल के दिनों में बयानबाजी की है. अब मोहन यादव का पटना आना भी भाजपा की उसी रणनीति का हिस्सा माना जा रहा है. 

दरअसल, बिहार में यादव वोटरों की संख्या पर गौर करें तो यह सर्वाधिक वोटों वाली जाति है. कुछ महीने पूर्व आई जातीय सर्वे रिपोर्ट में भी साबित हुआ कि यादव सबसे ज्यादा संख्या में बिहार में हैं. वहीं यादव वोटरों के रुझान पर गौर करें तो वर्ष 1990 से यादवों को लालू यादव की पार्टी का कोर वोट बैंक माना जाता है. इसी यादव वोटों के सहारे लालू यादव अपनी सियासत को एम-वाई यानी मुस्लिम-यादव गठजोड़ के सहारे बिहार में आगे बढ़ाते रहे हैं. पिछले तीन दशक से ज्यादा में अमूमन सभी चुनावों में यह साबित हुआ है कि यादवों के सबसे बड़े नेता लालू यादव रहे हैं. लेकिन इसी वोटों में सेंधमारी करने पर अब भाजपा की योजना है.

मोहन यादव का दौरा : अपने एक दिवसीय पटना दौरे में मोहन यादव 12: 45 बजे पटना एयरपोर्ट से गांधी मैदान स्थित श्रीकृष्ण मेमोरियल हाल के लिए रवाना होंगे. यहां मोहन यादव अतिथियों के साथ दोपहर 1 बजे तक चाय के साथ चर्चा करेंगे. वहीं इसके 1 बजे मोहन का अभिनंदन समारोह के मंच पर आगमन होगा. इस कार्यक्रम के सीएम मोहन यादव वीरचंद पटेल मार्ग स्थित बीजेपी प्रदेश कार्यालय पहुंचेंगे. फिर यहां से मोहन यादव 4:20 बजे पटना के इस्कॉन टेंपल जाएंगे. इस्कॉन टेंपल में दर्शन-पूजन करने के बाद सीएम मोहन 4:45 बजे पटना एयरपोर्ट पहुंचेंगे और 4:50 बजे भोपाल के लिए रवाना हो जाएंगे.

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