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दो लोगों की मौत के बाद भी सबक नहीं सीख रहा नगर परिषद, आवारा सांड के आतंक से आम लोग भयाक्रांत, शिकायत के बाद ही नहीं हो रहा निपटारा

दो लोगों की मौत के बाद भी सबक नहीं सीख रहा नगर परिषद, आवारा सांड के आतंक से आम लोग भयाक्रांत, शिकायत के बाद ही नहीं हो रहा निपटारा

लखीसराय. एक ओर आवारा सांड बड़हिया को बेहाल किए है, दूसरी ओर नगर परिषद और प्रशासन आम लोगों के जान-माल के नुकसान पर आंखें मूंदे है. मानो बड़हिया में आवारा सांड से तीसरी मौत का इतंजार नगर परिषद कर रहा हो. नगर परिषद क्षेत्र के बाजार हों या गली-चौराहे हर जगह आवारा सांड का खौफ आसानी से देखा जा सकता है. स्थिति है कि जहाँ आम लोगों को अपने जान-माल की चिंता होती है, वहीं बाजार के दुकानदार भी परेशान हैं. आवारा पशुओं की भरमार से परेशान बड़हिया में सांड के खौफ से लोगों का जीना दुश्वार हो गया है.

स्थनीय लोगों की मानें तो करीब दो साल पहले भी बड़हिया नगर पंचायत में एक पागल सांड ने आतंक फैला रखा था। इसका खौफ लोगों में लम्बे समय तक देखा गया. तब पागल साढ़ कई लोगों को घायल कर चुका है। यहां तक कि सांड ने एक बुजुर्ग को पटक पटककर मार डाला है। बुजुर्ग की पहचान स्थानीय वार्ड निवासी व पेशे से किसान शिवदानी सिंह के रूप में हुई थी। इससे पहले बीते 29 जुलाई 2021 को नगर पंचायत के दो सफाईकर्मियों पर हमला किया था। वहीं वर्ष 2020 में भी वार्ड नंबर 3 के निवासी रामजी साव के पुत्र रामचंद्र साव कि मौत भी एक सांड के मारने कि वजह से हुई थी. उस वक्त भी नगरपरिषद उनकी मौत के बाद सांड को बाहर खदेड़ा था. 

ऐसे में दो मौतों को पहले ही झेल चुका बड़हिया एक बार फिर नगर परिषद क्षेत्र में उसी आंतक से त्रस्त है. लोगों को डर है कि कहीं फिर से आवारा पशु के हमले में कोई हताहत ना हो जाए. आम लोगों का कहना है कि सांड पूरे दिन यहां वहां घूमता रहता है. कई लोगों के वाहनों को नुकसान पहुंचा चुका है. विशेषकर दो पहिया वाहनों के लिए यह सांड एक आतंक बन चुका है और कई वाहनों को नुकसान पहुंचा चुका है. . स्थानीय लोगों की मानें तो सांड अक्सर सड़क किनारे और लोगों के घरों के बाहर लगे दो पहिया वाहनों पर फांद जाता है. इससे कई दो पहिया वाहनों को क्षति होती है. बावजूद इसके नगर परिषद या स्थानीय प्रशासन की ओर से सांड को पकड़ने की कोई पहल नहीं की गई है. 

आवारा सांड पर लगाम लगाने की कोई पहल प्रशासनिक तौर पर नहीं की गई है. इसे लेकर स्थानीय लोगों में रोष भी देखा जा रहा है. यहां तक कि लोग-बाग  अपने बच्चों की सुरक्षा के प्रति आशंकित रहने को मजबूर हैं। नगर परिषद क्षेत्र में आवारा सांड को पकड़ने और इसे यहां से दूर भगाने की शिकायतों के बाद भी नगर परिषद एक प्रकार की निद्रा में है. इससे लोगों को डर है कि कहीं फिर से कोई अनहोनी ना हो जाए. लोगों का कहना है कि कई बार इसे लेकर शिकायत की गई है लेकिन अब तक कोई काम नहीं हुआ है. 


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