NEWS4NATION DESK : हिन्दू धर्म ग्रंथ के अनुसार
श्रीयंत्र को साक्षात लक्ष्मी माना गया है। धन-प्राप्ती और संपदा के लिए अक्सर घरों में लोग इसकी स्थापना करते हैं, लेकिन उन्हें
इसका कोई लाभ नहीं मिल पाता है। इसका अर्थ ये नहीं है कि श्रीयंत्र में कोई दोष है, संभव है कि इसको रखने के नियम
के बारे में जानकारी नहीं होने से लोग इसका फायदा नहीं ले पाते। श्रीयंत्र बहुत
प्रभावी माना गया है अगर पूरी विधि-विधान से उसकी स्थापना की जाए और उससे जुड़े
नियमों का ख्याल रखा जाए तो इसका लाभ अवश्य मिलता है। अगर आप भी घर में श्रीयंत्र
रखते हैं या रखने का विचार कर रहे हैं तो आपको कुछ नियमों को जान लेना चाहिए।
ज्योतिषग्रंथ यंत्रम् में इसे लेकर कई नियम और सावधानियां बताई गई हैं। बिना इन
नियमों के कभी भी श्रीयंत्र से हमें वो फायदा नहीं मिल पाएगा, जिसके लिए घर में उसकी स्थापना
की होगी। श्रीयंत्र को लेकर कई तरह के भ्रम भी हैं, लोग घरों में कई तरह के यंत्र
श्रीयंत्र के नाम पर रख लेते हैं।
श्रीयंत्र को रखने से पहले इन 5 बातों का हमेशा ध्यान
रखें
1.
घर में एक ही श्रीयंत्र रखें, एक से ज्यादा ना हो।
2.
श्रीयंत्र को जहां भी रखें, वहां से वो अंदर की तरफ आता
दिखना चाहिए।
3.
घर के मेनगेट के सामने कभी श्रीयंत्र ना रखें।
4.
कोशिश करें कि श्रीयंत्र घर के मंदिर में ही स्थापित किया
जाए।
5.
श्रीयंत्र की रोज पूजा होनी चाहिए। सिर्फ रखने से लाभ नहीं
होगा।
इस तरह से करें घर में श्रीयंत्र की
स्थापना
1. श्रीयंत्र की स्थापना शुक्रवार
को किसी शुभ मुहूर्त में करनी चाहिए। ये लक्ष्मी का दिन माना गया है, श्रीयंत्र को लक्ष्मी का स्वरुप
माना जाता है।
2. सुबह श्रीयंत्र घर लाएं, उसे साफ पानी से धोने के बाद, पंचामृत (दूध, दही, घी, शहद और शकर) से अभिषेक करें।
अभिषेक के दौरान ऊँ महालक्ष्म्ये नमः मंत्र का जाप करते रहें।
3. अभिषेक के बाद उसे साफ पानी से
धोकर लाल कपड़े पर स्थापित करें। अबीर, गुलाल, कुंकुम आदि से पूजन करें।
4. लाल गुलाब का फूल चढ़ाएं।
नैवेद्य में खीर या दूध रखें।
5. फिर महालक्ष्मी का ध्यान करते
हुए श्रीसूक्त या लक्ष्मी सूक्त का पठ करें।
6.
श्रीयंत्र की स्थापना के बाद घर में रोज श्रीसूक्त या
लक्ष्मी सूक्त का पाठ होने से घर में लक्ष्मी का वास होता है।