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मेडिकल और इंटर के छात्रों लिए वरदान साबित हो रहा रंजन सिंह केमिस्ट्री क्लासेज, हज़ारों छात्र-छात्राओं ने पाई सफलता

मेडिकल और इंटर के छात्रों लिए वरदान साबित हो रहा रंजन सिंह केमिस्ट्री क्लासेज, हज़ारों छात्र-छात्राओं ने पाई सफलता

PATNA : मेडिकल, इंजीनियरिंग की तैयारी और इंटर साइंस की पढ़ाई कर रहे छात्रों को केमिस्ट्री हमेशा उलझा कर रखता है। जिससे उन्हें पढ़ाई के साथ तैयारी में भी काफी परेशानी होती है। छात्रों को इस परेशानी से रंजन सिंह पिछले 11 सालों से दूर कर रहे हैं। पटना के बोरिंग रोड स्थित रंजन सिंह केमिस्ट्री क्लासेज के माध्यम से रंजन सिंह इतने सालों से छात्रों के पथप्रदर्शक बने हुए हैं। यहीं नहीं रंजन सिंह केमिस्ट्री क्लासेज में छात्रों का पढ़ाई के साथ अनुशासन का पाठ भी पढ़ाया जाता है। जिससे योग्य नागरिक के रूप इन छात्रों का निर्माण होता है।  

केमिस्ट्री की गुत्थी सुलझाने वाले रंजन सिंह के इस सफ़र की शुरुआत बिहार के पश्चिम चंपारण जिले से हुई। जहाँ जिले के पकड़ीदयाल प्रखंड के एक छोटे से गांव बड़कागांव में 16 अगस्त 1985 को उनका जन्म हुआ था। रंजन सिंह के पिताजी का नाम डॉ रामकृष्ण शर्मा है जो खुद एक बड़े शिक्षाविद हैं। डॉ रामकृष्ण शर्मा रिटायर्ड कॉमर्स के प्रोफेसर हैं जो जे आर पब्लिक स्कूल के नाम से अपनी स्कूल चलाते हैं। रंजन सिंह की माताजी का नाम मीना देवी है जो हाउसवाइफ हैं। माता-पिता से मिले संस्कार की बदौलत रंजन सिंह भी पटना में मेडिकल और इंटर की पढ़ाई करनेवालों छात्रों के लिए मार्गदर्शक का काम कर रहे हैं। 

रंजन की शुरुआती पढ़ाई अपने पिता और बड़े शिक्षाविद डॉ रामकृष्ण शर्मा के मार्गदर्शन में ही हुई। इसके बाद रंजन ने मैट्रिक तक की पढ़ाई बड़कागांव के जे आर पब्लिक स्कूल और राम अयोध्या सिंह हाई स्कूल में पूरी की। रंजन सिंह पढ़ाई में शुरु से ही मेधावी थे और साल 2000 में आयोजित मैट्रिक की परीक्षा में उन्होंने फर्स्ट डिवीजन से मैट्रिक की परीक्षा पास की। मैट्रिक की परीक्षा में बढ़िया रिजल्ट के बाद रंजन सिंह ने आगे की पढ़ाई के लिए पटना का रुख किया। पटना आने के बाद रंजन सिंह ने आगे की पढ़ाई अपने चाचा बुद्धि चंद्र सिंह के मार्गदर्शन में शुरु की और उन्होंने इंटर की पढ़ाई के लिए पटना साइंस कॉलेज में दाखिला लिया। फर्स्ट डिविजन से इंटर की परीक्षा पास करने के बाद ग्रेजुएशन की पढ़ाई के लिए पटना यूनिवर्सिटी में ही एडमिशन लिया।

2005 में उन्होंने ग्रेजुएशन की परीक्षा भी फर्स्ट डिवीजन और बायोकेमिस्ट्री से पीजी की परीक्षा पास की। अपनी पढ़ाई पूरी करने के बाद रंजन सिंह ने अपने करियर की शुरुआत बतौर केमिस्टरी टीचर के तौर पर नारायणा आईआईटी दिल्ली से की। जहां उन्होंने साल 2007 में बतौर शिक्षक के तौर पर ज्वाइन किया। उसके बाद साल 2009 से लेकर साल 2011 तक गोल इंस्टीट्यूट पटना में बतौर केमिस्ट्री के टीचर के तौर पर काम किया। इसके बाद 2012 में उन्होंने रंजन सिंह केमिस्ट्री क्लासेज की शुरुआत की। जिसके बाद आज 20 हज़ार से अधिक छात्र-छात्रों ने उनसे शिक्षा ली। कई छात्र अपनी प्रतिभा का परचम फहरा रहे हैं।

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