DESK: लोक जनशक्ति पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान ने राम मंदिर पर बड़ा बयान जारी किया है. चिराग पासवान ने कहा कि जब तक दलितों के साथ भेदभाव खत्म नहीं होता, तब तक देश में रामराज्य नहीं आ सकता. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा अयोध्या में श्रीराम मंदिर भूमिपूजन कार्यक्रम का स्वागत करते हुए चिराग ने कहा कि मंदिर निर्माण के साथ-साथ भगवान राम के विचारों को भी आत्मसात कर उनक विचारों के अनुरूप समाज का निर्माण करना होगा. भेदभाव को मिटाए बिना राम राज्य संभव की स्थापना नहीं की जा सकती. खुद को माता शबरी का वंशज बताते हुए चिराग ने कहा कि यह उनका सौभाग्य है कि उनके जीवन काल में पुन: श्रीराम मंदिर बनने जा रहा है.
चिराग ने ट्वीट कर आगे लिखा कि वंचित वर्ग से आने वाली, गुरु मतंग की शिष्या और भगवान राम की परमभक्त माता शबरी का वंशज होने के नाते यह उनका सौभाग्य है कि उनके जीवनकाल में पुनः मंदिर का निर्माण होने जा रहा है.
एक दूसरे ट्वीट में लिखा कि मतंग ऋषि की शिष्या माता शबरी को सभी सिद्धियां प्राप्त थीं. इसके बावजूद उनमें तनिक भी अहंकार नहीं था. यह माता शबरी की भक्ति व प्रेम का असर था कि बिना संकोच के भगवान राम ने प्रेम से उनके जूठे बेर खाए.
चिराग ने आगे लिखा है कि माता शबरी के प्रेम को देखते हुए भगवान राम ने उनकी तुलना माता कौशल्या से की थी. वंचित वर्ग से आने के बावजूद भगवान राम के मन में माता शबरी के प्रति भेदभाव की भावना नहीं थी.