पटना के VVIP इलाके का ऐसा सरकारी बंगला, जहां रहनेवाले नेता के साथ शुरू हो जाता अपशकुन का खेल, पढ़िए पूरी खबर

पटना के VVIP इलाके का ऐसा सरकारी बंगला, जहां रहनेवाले नेता के साथ शुरू हो जाता अपशकुन का खेल, पढ़िए पूरी खबर

PATNA : आपने फिल्मों और कहानियों में भुतिया बंगलों के बारे में कभी न कभी जरुर पढ़ा और देखा होगा. ऐसा ही एक आशियाना मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के सरकारी आवास के बगल में है. जिसमें रहने से बिहार सरकार के मंत्री भी कतराते हैं. इस बंगले के बारे में राजनीतिक गलियारे में चर्चा है कि इसमें रहने वाला कोई भी नेता अपना कार्यकाल पूरा नहीं कर सका है. बंगले से जुड़ा यह संयोग पहली बार तत्कालीन उपमुख्यमंत्री तेजस्वी प्रसाद यादव से साल 2015 में शुरू हुआ.

तेजस्वी, मोदी और तारकिशोर भी रहे

राजधानी पटना के रिहायशी इलाके देशरत्न मार्ग के जिस पांच नंबर के सरकारी बंगले में रहने के लिए तेजस्वी प्रसाद यादव ने सुप्रीम कोर्ट तक लड़ाई लड़ी थी, लेकिन पांच साल बाद उन्हें फिर वही बंगला मिला तो उसमें वो रहते नहीं हैं. दिन में भले ही वे यहाँ यदा कदा आ जाते हैं, लेकिन यहाँ रात कभी भूलकर भी नहीं बिताते हैं. कभी सुशील मोदी, तारकिशोर प्रसाद भी यहीं रहते थे. उपमुख्यमंत्री तेजस्वी प्रसाद यादव के बाद यहाँ सुशील कुमार मोदी और तारकिशोर प्रसाद रहने को आये, लेकिन उन दोनों के लिए भी यह बंगला शुभ साबित नहीं हो सका और दोनों ही अपना कार्यकाल पूरा नहीं कर पाए.

साल 2015 में पहली बार हुआ था अलॉट

वन विभाग का यह बंगला वर्ष 2015 में तेजस्वी प्रसाद यादव को अलाट हुआ था. तब वे उपमुख्यमंत्री थे. तब से इस बंगले को उपमुख्यमंत्री का आवास निर्धारित कर दिया गया है. इससे पहले मुख्यमंत्री के अलावा किसी अन्य मंत्री के लिए कोई आवास निर्धारित नहीं था. इसी बंगला में रहते हुए तेजस्वी से सीबीआई की पूछताछ हुई. जुलाई 2017 में वे उपमुख्यमंत्री पद से हट गए थे.

लंबी कानूनी लड़ाई लड़ी

साल 2017 में पद से हटने पर तेजस्वी को बंगला खाली करने के लिए कहा गया और वे उच्च न्यायालय की शरण में चले गए. वहां जिरह ढीली पड़ी तो उन्होंने सर्वोच्च न्यायालय का रुख किया. सर्वोच्च न्यायालय ने भी बंगला खाली करने के आदेश को जारी रखा और तेजस्वी प्रसाद यादव पर 50 हजार रुपये का जुर्माना भी लगा.

तेजस्वी का लगा है नेम प्लेट 

फिलहाल बंगले के प्रवेश द्वार पर तेजस्वी प्रसाद यादव का नेम प्लेट चस्पा है. सुरक्षा के कड़े प्रबंध हैं. वह कभी-कभी इस बंगले में बैठते तो हैं, लेकिन रात्रि विश्राम वे अपनी मां व पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी के आवास पर ही करते हैं.

नीरज सहाय की रिपोर्ट

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