DARBHANGA : दरभंगा में मिड डे मील खाने से 6 स्कूल बच्चे बीमार हो गए है. उन्हें उल्टी आने के साथ ही पेट में दर्द और चक्कर आने की शिकायत आने लगी. पहले इन बच्चों को स्थानीय अस्पताल में भर्ती कराया गया. स्थिति बिगड़ता देख आनन-फानन में 3 बीमार बच्चों को दरभंगा मेडिकल कॉलेज अस्पताल (DMCH) के शिशु रोग विभाग में भर्ती कराया गया. फिलहाल तीनों बच्चों की हालत में सुधार है. मिड डे मील के तहत दिए जाने वाले भोजन की गुणवत्ता को लेकर कई बार सवाल उठ चुके हैं. इसके बावजूद जिला प्रशासन के साथ ही शिक्षा विभाग की भी बड़ी लापरवाही सामने आई है. मिड डे मील के तहत बच्चों को भोजन एक एजेंसी मुहैया कराती है. बिहार के मुख्य सचिव अमीर सुबाहनी की अध्यक्षता में इस घटना से ठीक एक दिन पहले यानी 28 मार्च को मध्याह्न भोजन योजना को सभी स्कूलों में गुणवत्ता पूर्वक तरीके से संचालित करने को लेकर ऑनलाइन बैठक की थी. मुख्य सचिव ने इस दौरान जिला प्रशासन को मिड डे मील के तहत दिए जाने वाले भोजन का स्वाद और गुणवत्ता की जांच स्थानीय स्तर पर कराने के भी निर्देश दिए थे. बैठक में शामिल सभी जिलाधिकारी को क्षेत्र भ्रमण के दौरान मध्याह्न भोजन करने एवं उसकी गुणवत्ता की जांच करने के लिए भी कहा गया था. इसके बावजूद दरभंगा जिला प्रशासन ने इसे गंभीरता से नहीं लिया और बैठक के एक दिन बाद ही मिड डे मील खाने से बच्चों के बीमार पड़ने की घटना सामने आ गई.
बताया जा रहा है की नगर थाना क्षेत्र के शिवाजी नगर मध्य विद्यालय (काली स्थान) में मिड डे मील खाने के बाद कई छात्र-छात्राएं बीमार पड़ गए. खाने के तुरंत बाद ही सभी ने पेट में दर्द, उल्टी और चक्कर आने की शिकायत की. शिक्षकों ने आनन-फानन में सभी के परिजन को घटना की जानकारी दी. परिजन अपने बच्चे का इलाज स्थानीय स्तर पर करवाने लगे. इनमें से 3 बच्चियों की हालत गम्भीर देखते हुए उन्हें डीएमसीएच के शिशु विभाग के इमरजेंसी वार्ड में भर्ती करवाया गया है. बच्चियों का इलाज कर रहे डॉक्टर ने बताया कि अब सभी खतरे से बाहर हैं. तीनों बच्चियों की पहचान निभा कुमारी पिता संतोष राम, माही पिता रमण सदाय और आंचल कुमारी पिता अमन सहनी के तौर पर की गई है. सभी बच्चियां नगर थाना क्षेत्र के शिवजी नगर की रहने वाली हैं. बता दें कि खाना स्कूल में नहीं बनता है. एक एजेंसी इसकी आपूर्ति करती है.
परिजन बीमार बच्ची निभा की मां मालती देवी ने बताया की टिफिन के समय हम अपनी बेटी को लाने के लिए गए तो देखा कि 6 बच्चों की तबीयत बहुत खराब थी. मेरी बेटी को भी चक्कर आ रहा था. बाद में पता चला कि मिड डे मील खाने के बाद ऐसा हुआ है. इससे शिक्षक भी परेशान थे. निभा की मां ने बताया कि उन्होंने अपनी बच्ची को आनन-फानन में डीएमसीएच के शिशु वार्ड में भर्ती करवाया. इसके बाद 2 और बच्चियों को यहां लाया गया. अब उनकी हालत खतरे से बाहर है. मिड डे मील खाने से बीमार पड़ीं निभा ने बताया कि स्कूल में खाना खाने के बाद सिर में चक्कर आने लगा था. कुछ और दोस्त की तबीयत भी बिगड़ गई थी, लेकिन शिक्षकां ने कुछ नहीं किया. निभा ने आगे बताया कि मम्मी के आने पर वह घर चली गई, पर तबीयत में सुधार नहीं हुआ. इसके बाद डीएमसीएच में भर्ती होना पड़ा. छात्रा ने बतया की स्कूल में खाना नहीं बनता है. भोजन बाहर से आता है. निभा ने बताया कि भोजन कफी खराब होता है. दाल-सब्जी खाने लायक नहीं होती है.
दरभंगा से वरुण ठाकुर की रिपोर्ट