Prashant kishor: कैग रिपोर्ट बना बिहार की राजनीति का नया विस्फोटक मुद्दा, जहानाबाद की जनसभा में गरजे प्रशांत किशोर! तेजस्वी, नीतीश और BJP पर 70 हजार करोड़ की लगाया लूट का आरोप

Prashant kishor: प्रशांत किशोर ने जहानाबाद की जनसभा में तेजस्वी यादव, राजद-जदयू और भाजपा पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाए और 70 हजार करोड़ की कैग रिपोर्ट पर सवाल उठाए। जानिए उन्होंने बिहार में 50 लाख युवाओं को रोजगार देने का क्या वादा किया।

प्रशांत किशोर ने लगाया भ्रष्टाचार का आरोप- फोटो : SOCIAL MEDIA

Prashant kishor: प्रशांत किशोर ने अपनी बिहार बदलाव यात्रा के तहत जहानाबाद के मखदुमपुर में आयोजित जनसभा में सीधे-सीधे सवाल उठाते हुए कहा कि बिहार के गरीबों का 70 हजार करोड़ रुपया कहां गया? किसने लूटा? कोई जवाब नहीं दे रहा।उन्होंने कहा कि ये कैग रिपोर्ट दिखाती है कि भ्रष्टाचार का खेल सत्ता की हर पार्टी में चलता रहा है, और इसी कारण कोई इस मुद्दे पर बोलने को तैयार नहीं है।

तेजस्वी यादव पर सीधा हमला

प्रशांत किशोर ने तेजस्वी यादव को भी इस मुद्दे पर घेरते हुए कहा कि इस 70 हजार करोड़ में 17 हजार करोड़ उस वक्त खर्च हुए, जब तेजस्वी यादव उपमुख्यमंत्री थे। इसलिए वो भी चुप हैं। यह हमला केवल तेजस्वी यादव पर नहीं था, बल्कि उन्होंने कहा कि राजद, जदयू और भाजपा — सब मिलकर लूट रहे हैं। हमाम में सभी नंगे हैं। इस बयान के जरिए उन्होंने यह स्पष्ट किया कि बिहार की सत्ता में कोई भी दल ईमानदार नहीं है, और यही कारण है कि जनता को एक नए विकल्प की जरूरत है।

सुप्रीम कोर्ट और वोटर लिस्ट विवाद पर टिप्पणी

प्रशांत किशोर ने सुप्रीम कोर्ट के उस निर्देश का स्वागत किया जिसमें आधार कार्ड को वोटर पहचान के तौर पर मान्यता दी गई है। उन्होंने कहा कि अब लगभग 99.99% लोगों का नाम वोटर लिस्ट में होना चाहिए। अगर किसी का नाम नहीं है तो वह राजनीतिक दलों से मदद लें।यह बयान दरअसल मतदाता सूची में गड़बड़ी और शोषित वर्गों को बाहर रखने की राजनीति पर निशाना है।

भाई वीरेंद्र और पंचायत सचिव की कथित ऑडियो क्लिप पर निशाना

प्रशांत किशोर ने राजद विधायक भाई वीरेंद्र पर भी हमला बोला। वायरल ऑडियो को लेकर उन्होंने कहा कि भाई वीरेंद्र कट्टा वाले दल के नेता हैं। इनकी सरकार थी तो बिहार अपहरण, रंगदारी और जंगलराज के लिए जाना जाता था। उन्होंने चेतावनी दी कि अगर ये लोग गलती से फिर जीत गए तो फिर से वही करेंगे जो पहले करते थे। यह एक साफ-सुथरी राजनीति का आह्वान है, जिसमें प्रशांत किशोर पुराने चेहरों को पूरी तरह खारिज करते हैं।

50 लाख युवाओं को रोजगार देने का वादा

प्रशांत किशोर ने जनसभा में सबसे बड़ा वादा किया कि बिहार की बदहाली की यह आखिरी दिवाली और छठ होगी। अगले साल जहानाबाद का कोई युवा मजदूरी के लिए पलायन नहीं करेगा।उन्होंने कहा कि बिहार के 50 लाख युवाओं को यहीं रोजगार उपलब्ध कराए जाएंगे, जिनकी कमाई 10 से 12 हजार रुपये प्रतिमाह होगी।यह वादा केवल एक चुनावी घोषणा नहीं, बल्कि जन सुराज मॉडल की आधारशिला के रूप में पेश किया गया।

क्या है 'जन सुराज' और प्रशांत किशोर की रणनीति?

प्रशांत किशोर, जो पहले विभिन्न पार्टियों के लिए चुनावी रणनीतिकार रह चुके हैं, अब स्वयं नेता की भूमिका में आ चुके हैं। ‘जन सुराज’ के माध्यम से वह जनता को यह भरोसा देने की कोशिश कर रहे हैं किवे किसी पार्टी से बंधे नहीं हैं। उनका लक्ष्य नीति और परिणाम आधारित राजनीति है।