Bihar Crime: पुलिस को आक्रोशित भीड़ ने दौड़ा- दौड़ा कर पीटा, जान बचाने के लिए भीड़ से छिपने को मजबूर हो गए खाकीधारी, दारोगा को निकालनी पड़ी बंदूक, कई घायल
भीड़ ने पुलिसकर्मियों को दौड़ा-दौड़ा कर पीटा, जिससे उन्हें चोटें भी आईं। अन्य पुलिसकर्मियों को उन्हें स्थानीय अस्पताल ले जाना पड़ा।
Bihar Crime: बिहार के पश्चिम चंपारण जिले में रविवार रात एक भीषण सड़क दुर्घटना ने न केवल एक पूर्व सैन्यकर्मी (एक्स आर्मी) की जान ले ली, बल्कि इसके बाद उपजे आक्रोश ने कानून व्यवस्था के लिए भी गंभीर चुनौतियां पैदा कर दीं। लौरिया-बेतिया मार्ग पर पूर्णमासी राम के पेट्रोल पंप के पास हुई इस घटना ने स्थानीय समुदाय में गहरा रोष उत्पन्न कर दिया, जिसके परिणामस्वरूप पुलिसकर्मियों पर भी हमला हुआ।
दुर्घटना का विवरण और दुखद परिणाम
रविवार रात करीब 8:30 या 9 बजे, हरिनगर चीनी मिल में कार्यरत 45 वर्षीय राम कुमार राय, जो कि एक पूर्व सैन्यकर्मी (मंगलेश्वर राय के पुत्र) थे, बेतिया से रामनगर की ओर अपनी बाइक से जा रहे थे। दुर्भाग्यवश, लौरिया से बेतिया की ओर जा रहे एक तेज रफ्तार ट्रक ने पूर्णमासी राम के पेट्रोल पंप के पास उन्हें टक्कर मार दी। यह टक्कर इतनी भीषण थी कि राम कुमार राय का सिर धड़ से अलग हो गया, जिससे उनकी घटनास्थल पर ही दर्दनाक मौत हो गई। ट्रक चालक दुर्घटना के तुरंत बाद अपना वाहन छोड़कर फरार हो गया। इस दुर्घटना ने एक परिवार को तबाह कर दिया और स्थानीय समुदाय को सदमे में डाल दिया।
जन आक्रोश और पुलिस पर हमला
दुर्घटना की सूचना मिलते ही लौरिया पुलिस घटनास्थल पर पहुंची। हालांकि, जिस तरह से आक्रोशित भीड़ ने प्रतिक्रिया दी, वह चिंताजनक थी। घटनास्थल पर मौजूद भीड़ ने राष्ट्रीय राजमार्ग 727 (NH 727) को अवरुद्ध कर दिया और पुलिसकर्मियों, विशेषकर एसआई सुधीर कुमार, के साथ बदतमीजी की। रिपोर्ट्स के अनुसार, भीड़ ने पुलिसकर्मियों को दौड़ा-दौड़ा कर पीटा, जिससे उन्हें चोटें भी आईं। अन्य पुलिसकर्मियों को उन्हें स्थानीय अस्पताल ले जाना पड़ा। एक अन्य अधिकारी पर भी हमला करने की कोशिश की गई, लेकिन वह किसी तरह अपनी जान बचाकर वहां से भागने में सफल रहे। कई पुलिसकर्मी तो अपनी जान बचाने के लिए भीड़ से छिपने को मजबूर हो गए।
स्थिति का नियंत्रण और आगे की कार्रवाई
कुछ देर बाद, थानाध्यक्ष रमेश कुमार शर्मा ने स्थिति को संभालने का प्रयास किया। उन्होंने भीड़ के बीच पहुंचकर आक्रोशितों को समझाया-बुझाया और स्थिति को शांत करने में सफलता प्राप्त की। लगभग डेढ़ घंटे के बाद, NH 727 को यातायात के लिए बहाल किया जा सका, जिससे दोनों ओर खड़ी सैकड़ों गाड़ियों की आवाजाही संभव हो पाई। इस बीच, राम कुमार राय के शव को पोस्टमार्टम के लिए बेतिया सरकारी अस्पताल भेज दिया गया है, ताकि मौत के कारणों की पुष्टि की जा सके और कानूनी प्रक्रिया आगे बढ़ाई जा सके।
बहरहाल भीड़ का आक्रोशित होकर पुलिस पर हमला करना कानून और व्यवस्था के लिए एक गंभीर खतरा है। यह दर्शाता है कि लोगों में पुलिस के प्रति विश्वास की कमी है और वे न्याय के लिए स्वयं हिंसा का सहारा लेने को तत्पर रहते हैं।