Crime News: शादी के मंडप से उठी चीखें… पारिवारिक कलह ने बुझा दी तीन ज़िंदगियाँ, सनसनीखेज़ घटना से इलाके में दहशत

पारिवारिक कलह के चलते एक बेहद दुखद घटना सामने आई। जहाँ एक परिवार में देवर की शादी की खुशियाँ मनाई जा रही थीं और घर में मंडप का कार्यक्रम होना था, वहीं भाभी आरती (27 वर्ष) ने अपनी दो मासूम बेटियों के साथ खुद को आग के हवाले कर दिया

शादी के मंडप से उठी चीखें… पारिवारिक कलह ने बुझा दी तीन ज़िंदगियाँ- फोटो : NEWS 4 NATION AI

Crime News: एक ऐसी दिल दहला देने वाली वारदात सामने आई जिसने पूरे इलाके को सदमे में डाल दिया। घर में खुशियों का माहौल था, शाम को मंडप लगना था, छोटे भाई की बारात बरेली जाने की तैयारी चल रही थी लेकिन ठीक उसी घर से अचानक उठी चीखों और धुएँ ने सारे रंग फीके कर दिए।सूत्रों के मुताबिक़, घरेलू कलह और लगातार जारी तनातनी ने आरती (27) के सब्र का बांध तोड़ दिया। बताया जाता है कि आरती पिछले कुछ वक़्त से मायूसी और तनाव में जी रही थी। सोमवार सुबह जब घर के मर्द बाहर सब्ज़ी लेने गए, तभी आरती ने अपनी दोनों मासूम बेटियों — पीहू (7) और दृष्टि (1) — को कमरे में बंद किया और ख़ुद को भी उनके साथ आग के हवाले कर दिया।जालौन के कोंच कोतवाली क्षेत्र के ग्राम दाढ़ी में सोमवार की सुबह ये दर्दनाक घटना घटी।

कुछ ही मिनटों में कमरे से उठते धुएँ और मदद की चीखें सुनकर पड़ोसी दौड़ पड़े। दरवाज़ा तोड़ा गया तो सामने ऐसा मंजर था कि देखने वालों के होश उड़ गए मां और दोनों बच्चियां आग की लपटों में झुलसी पड़ी थीं। लोगों ने तुरंत पुलिस व एम्बुलेंस को इत्तला दी और तीनों को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचाया गया।

डॉक्टरों ने आरती और उसकी बड़ी बेटी पीहू को मृत घोषित कर दिया। छोटी दृष्टि ने भी गंभीर हालत के चलते झांसी रेफर किए जाने के बाद दम तोड़ दिया। शादी वाले घर में खुशी से पहले मातम का ऐसा साया पड़ा कि पूरा गांव ग़मगीन हो गया।

मौके पर पहुंचे ग्रामीणों ने बताया कि परिवार में कुछ वक़्त से मनमुटाव चल रहा था, शायद इसी तनाव ने आरती को इतना बड़ा कदम उठाने पर मजबूर कर दिया। कोंच सीओ और पुलिस टीम ने घटनास्थल का मुआयना किया, फोरेंसिक टीम को भी बुलाया गया है। पुलिस के मुताबिक़ शुरुआती जांच में “पारिवारिक कलह” ही इस सामूहिक आत्मदाह की सबसे बड़ी वजह नज़र आ रही है, लेकिन असल विवाद क्या था— इस पर अभी सस्पेंस बरकरार है।

गांव में अब भी सन्नाटा पसरा है, और उसी घर में जहां सुबह मंडप सजना था, अब तीन जनाज़ों का मातम है…