जंगलराज : दो सगी बहनों के नदी में शव मिलने से मचा हड़कंप, मृतक बच्चियों के मां के साथ हैवानों ने बारी बारी से किया बलात्कार

GAYA : बिहार के गया जिले के  शेरघाटी थाना की पुलिस ने  दो किशोरी की शव नदी से बरामद की है। दोनों किशोरी सगी बहने हैं। मृतक किशोरी की मां भी जीवित हालत में घटनास्थल के आसपास में पाई गई। मृतक की पहचान बांके बाजार प्रखंड निवासी के तौर पर हुए। वहीं इस पूरे घटना के दौरान पुलिस की भूमिका  पर भी सवाल उठाए जा रहे हैं। 

एक्सक्लूसिवः जंगलराज रिटर्न्स....जेल में बंद बाहुबली 'आनंद मोहन' पहुंच गये पटना आवास, पत्नी-RJD विधायक बेटे व समर्थकों के साथ की मीटिंग, MLA कॉलोनी भी गए

 प्राप्त जानकारी के अनुसार बांके बाजार प्रखंड की रहने वाली माला देवी  (काल्पनिक नाम) अपने दो 8 वर्षीय एवं 5 वर्षीय बच्चियों के साथ बांके बाजार टेंपो से आमस प्रखंड क्षेत्र में स्थित के अपने मायके के लिए चली, उस दौरान जिसे इमामगंज मोड से दूसरी वाहन पकड़नी थी, जो घर से अपने भाई की रक्षाबंधन बाधने के लिए चली थी। उस दौरान जब वह आमस प्रखंड के हमजापुर गांव पहुंची। टेम्पो पर पूर्व से बैठे कुछ शरारती लोगों ने उसे कब्जे में ले लिया और उसके दोनो बच्चियों की हत्या कर नदी में फेंक दिया और मुझे कब्जे में लेकर नदी में ले जाकर बदमाशों ने बारी-बारी से सामूहिक बलात्कार किये। घटना शुक्रवार के वक्त संध्या समय की बताई जाती है और तो और जाते-जाते बलात्कारियों ने मुझे कमर के हिस्से तक नदी की रेत में गाड़ दिये, जिसे शेरघाटी पुलिस को आज जीवित हालत में नदी से पायी गई। ऐसा मृतक किशोरी की मॉ पीड़िता महिला का कहना है। 


हालांकि मौके पर पहुंची शेरघाटी थाना पुलिस को पीड़िता नदी में सामान हालत में पाई गई। पुलिस घटना को संदिग्ध मानते हुए पीड़िता को मेडिकल जांच के लिए अनुग्रह नारायण मगध मेडिकल कॉलेज अस्पताल भेजा है। वहीं, दूसरी ओर दोनों किशोरी की शव को पोस्टमार्टम के लिए गया जे अनुग्रह नारायण मगध मेडिकल कालेज  भेज दिया है । 

सबसे दिलचस्प बात यह है कि आज सुबह से ही नदी में एक जीवित महिला की गड़ी हालत से जुड़ी वीडियो सोशल मीडिया के माध्यम से वायरल हो रहे थे। इन सब के बावजूद शेरघाटी थाना के पुलिस सत्यापन करना भी मुनासिब नहीं समझा। वह भी उस स्थान से जहां शेरघाटी थाना परिसर से तकरीबन 200 मीटर दूर होगी। उसके बावजूद शेरघाटी पुलिस को उक्त स्थान पर पहुंचने में घंटो का वक्त लग गया। 

जिस वजह से शेरघाटी पुलिस की कार्यशौली पर प्रश्न चिन्ह लगाना लाजिमी बनता है। बताया जाता है कि पुलिस सक्रिय तब हुई जब नदी में शव होने की सूचना मिली और तो और सबसे ज्यादा संदिग्ध ऐसी हालात में पीड़िता के मौके पर होने के बावजूद शोर नहीं मचाने व थाने तक चलकर सूचना नही देने को लेकर भी है। बताया जाता है जिस वजह से शेरघाटी पुलिस भी घटना को संदिग्ध मानते हुए तफ्तीश में जुट गई है।