राहुल गांधी को पटना की अदालत से लगा झटका, 25 अप्रैल को कोर्ट में पेश नहीं हुए तो रद्द होगा बेल बांड

पटना. कांग्रेस नेता राहुल गांधी को पटना की अदालत से बड़ा झटका लगा है. ‘सारे मोदी चोर हैं’ मामले में कोर्ट में पेश नहीं होने को लेकर बुधवार को न्यायालय ने सख्त निर्देश दिया. कोर्ट ने अपने आदेश में कहा है कि अगर 25 अप्रैल को होने वाली अगली सुनवाई के दौरान राहुल गांधी सशरीर पेश नहीं हुए तो उनका बेल-बांड रद्द कर दिया जाएगा. इस मामले में कोर्ट ने पहले ही राहुल गांधी को 12 अप्रैल को पेश होने का आदेश दिया था. बावजूद इसके राहुल बुधवार को पेश नहीं हुए. इसे लेकर कोर्ट में दोनों पक्षों की ओर से अपनी बातें रखी गई जिसके बाद कोर्ट ने राहुल को अगली सुनवाई में सशरीर उपस्थित होने कहा है. 

दरअसल, राहुल गांधी ने वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव के दौरान कर्नाटक में एक चुनावी जनसभा में मोदी नाम वाले लोगों को निशाना साधते हुए ‘सारे मोदी चोर हैं’ कहा था. इसी को लेकर भाजपा नेता और बिहार के पूर्व उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने राहुल के खिलाफ मामला दर्ज कराया था. पिछली सुनवाई में राहुल को कोर्ट ने 12 अप्रैल को उपस्थित होने कहा था लेकिन वे पटना की एमपी-एमएलए कोर्ट में नहीं आए. 

इसी को लेकर कोर्ट ने उन्हें अब सख्त निर्देश दिया है. कोर्ट ने कहा है कि अगर अगली सुनवाई में राहुल गांधी सशरीर पेश नहीं होते हैं तो उनका बेल-बांड रद्द कर दिया जाएगा. राहुल की कोर्ट में उपस्थिति की संभवना को देखते हुए बुधवार को कोर्ट परिसर में काफी गहमागहमी रही. हालांकि राहुल खुद नहीं आए और उनके वकीलों ने कोर्ट को बताया कि वे राहुल किन कारणों से आज पेश नहीं हुए हैं. 

अब कोर्ट ने राहुल बड़ा झटका दे दिया है. उन्हें सख्त निर्देश देते हुए अगली सुनवाई में 25 अप्रैल को शरीर आने कहा है. गौरतलब है कि राहुल गांधी को मोदी चोर है मामले में ही सूरत की अदालत ने दोषी करार दिया था. उनकी संसद की सदस्यता भी जा चुकी है. अब पटना की अदालत भी इसी मामले की सुनवाई कर रही है. ऐसे में अगर राहुल गांधी 25 अप्रैल को पटना की अदालत में पेश नहीं होते हैं तो उनका बेल बांड रद्द होगा और उन्हें गिरफ्तार भी किया जा सकता है. 

इस बीच, राहुल के वकीलों ने कोर्ट के बाहर मीडिया से कहा कि अगली सुनवाई के दौरान राहुल पेश हो सकते हैं. हालांकि इसे लेकर कांग्रेस के नेताओं ने चुप्पी साध रखी है. अब राहुल के लिए 25 अप्रैल का दिन बेहद अहम होगा. वे अगर कोर्ट में आते हैं तब भी उनके खिलाफ आगे की प्रक्रिया पर कोर्ट का अहम फैसला आ सकता है. वहीं अगर वे उपस्थित नहीं होते हैं तो उनकी मुश्किलें और ज्यादा बढ़ जाएगी.