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26/11 Attacks: 26/11 हमले में 160 लोगों की जान लेने वाला अब आएगा भारत, अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने प्रत्यर्पण को दी मंजूरी

26/11 Attacks: 26/11 हमले के मुख्य दोषी को भारत लाने का रास्ता साफ हो गया है। अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने प्रत्यर्पण को मंजूरी दे दी है। राणा को अब भारत लाया जाएगा। राणा मुंबई हमले का मुख्य दोषी है इस हमले में 160 लोगों की जान गई थी।

 Mumbai attack convict Tahawwur Rana
Mumbai attack convict Tahawwur Rana- फोटो : social media

26/11 Attacks:  26/11 मुंबई आतंकी हमले के दोषी तहव्वुर राणा को भारत लाया जाएगा। अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने राणा के प्रत्यर्पण पर अंतिम मुहर लगा दी। कोर्ट ने उसकी अपील को खारिज करते हुए निचली अदालत के फैसले को बरकरार रखा। डोनाल्ड ट्रंप के राष्ट्रपति बनने के एक दिन बाद, 21 जनवरी को अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने तहव्वुर राणा की याचिका को यह कहते हुए खारिज कर दिया कि, ‘याचिका को खारिज किया जाता है।’ राणा के वकील ने अदालत से निचली अदालत के फैसले की समीक्षा की अपील की थी और दोहरे खतरे (डबल जेपार्डी) के सिद्धांत का हवाला दिया था। यह सिद्धांत किसी व्यक्ति को एक ही अपराध के लिए दो बार मुकदमे का सामना करने या सजा पाने से रोकता है। हालांकि, सुप्रीम कोर्ट ने इस तर्क को ठुकरा दिया।

कानूनी लड़ाई में राणा की आखिरी हार

तहव्वुर राणा ने अमेरिकी निचली अदालतों और सैन फ्रांसिस्को के उत्तरी सर्किट कोर्ट सहित कई संघीय अदालतों में प्रत्यर्पण को रोकने के लिए कानूनी लड़ाई लड़ी थी। इन सभी में उसे हार का सामना करना पड़ा। आखिरी कोशिश में उसने 13 नवंबर को अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की। अमेरिकी सॉलिसिटर जनरल एलिजाबेथ बी. प्रीलोगर ने 16 दिसंबर को सुप्रीम कोर्ट से राणा की याचिका खारिज करने का अनुरोध किया था। राणा के वकील जोशुआ एल. ड्रेटल ने 23 दिसंबर को अमेरिकी सरकार की सिफारिश को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट से याचिका पर पुनर्विचार की गुहार लगाई थी। लेकिन अब सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले ने राणा के प्रत्यर्पण को रोकने की उसकी आखिरी उम्मीद भी खत्म कर दी है।

कौन है तहव्वुर राणा?

तहव्वुर राणा पाकिस्तानी मूल का कनाडाई नागरिक है, जिसे भारत 2008 के मुंबई हमलों के मामले में लंबे समय से वांटेड घोषित कर चुका है। राणा पर मुंबई आतंकी हमलों की साजिश रचने का आरोप है। वह फिलहाल लॉस एंजिल्स की जेल में बंद है। तहव्वुर राणा का नाम 26/11 हमलों के मुख्य साजिशकर्ता और पाकिस्तानी-अमेरिकी आतंकवादी डेविड कोलमैन हेडली से जुड़ा है। हेडली ने भारत में हमलों की योजना बनाने और टारगेट चुनने में अहम भूमिका निभाई थी। राणा पर हेडली को मदद पहुंचाने और उसके लिए सुविधा उपलब्ध कराने का आरोप है।

भारत लाने की प्रक्रिया जल्द होगी शुरू

अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले के बाद राणा को भारत लाने की प्रक्रिया जल्द शुरू की जाएगी। भारत में उसके खिलाफ मुंबई हमले से जुड़े कई गंभीर मामलों में मुकदमा चलाया जाएगा।

160 लोगों की गई थी जान

मुंबई हमले में 160 से अधिक लोगों की जान गई थी। इस हमले से जुड़ी चार्जशीट में राणा का नाम एक आरोपी के तौर पर दर्ज है, और उसे ISI और लश्कर-ए-तैयबा का सदस्य बताया गया है। चार्जशीट के अनुसार, तहव्वुर राणा हमले के मास्टरमाइंड, डेविड कोलमैन हेडली की मदद कर रहा था। 27 साल पहले, 26 नवंबर 2008 को, मुंबई में आतंकवादियों के नापाक इरादों की वजह से 160 से ज्यादा लोग मारे गए थे, और इस हमले ने पूरे देश को शोक में डुबो दिया था।

पाकिस्तान की सेना में डॉक्टर था राणा 

तहव्वुर राणा, जो कभी पाकिस्तान की सेना में डॉक्टर था, पर 26 नवंबर 2008 के मुंबई हमलों में शामिल होने का आरोप है। यह हमला ऐसा था जिसे भारत कभी नहीं भूल सकेगा। 26 नवंबर की रात से लेकर 29 नवंबर की सुबह तक मुंबई में मौत का तांडव मचा था। पाकिस्तान से समुद्र के रास्ते आए दस आतंकियों ने मुंबई के प्रमुख रेलवे स्टेशन, पांच सितारा होटलों, अस्पतालों और यहूदी सांस्कृतिक केंद्र को निशाना बनाया। इनमें से केवल एक, अजमल कसाब, को जिंदा पकड़ा जा सका, जबकि बाकी नौ आतंकवादी मुठभेड़ में मारे गए।

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