Bihar News : कलयुगी बेटे ने अपनी ही माँ को किया अगवा, 12 साल तक अज्ञात स्थान पर रखा बंधक, जबरन लिखवा दी दूसरे को जमीन
Bihar News : बिहार में एक कलयुगी बेटे ने अपनी ही माँ को अगवा कर लिया. इसके बाद 12 साल तक अज्ञात स्थान पर बंधक रखा......जानिए पूरा मामला

AURANGABAD : बिहार के गांवों में यह कहावत है कि जर, जोरू और जमीन जोर की नही तो किसी और की। ऐसा ही एक मामला औरंगाबाद में आज सामने आया है, जहां न केवल एक विधवा महिला को 12 साल तक कथित रूप से किडनैप कर अज्ञात स्थान पर रखा गया। बल्कि इस दौरान महिला से उसकी जमीन को जबरन लिखवा लिया गया। इसे लेकर औरंगाबाद की एक अदालत में मामला लंबे समय से विचाराधीन है और पीड़ित परिवार अदालत से न्याय की उम्मीद लगाए बैठा है। यह मामला औरंगाबाद सदर प्रखंड के खैरी गांव का है।
मामले में पीड़ित महिला जगमति कुंवर के पौत्र दिवाकर सिंह उर्फ डबलू सिंह ने दुःख दर्द बयां करते हुए बताया कि मेरी दादी को उनके ही सगे पुत्र जितेंद्र सिंह उर्फ भोला सिंह और अन्य लोग बहला-फुसला कर दिल्ली ले जाने के नाम पर हमारे घर से ले गए। बाद में परिजनों को पता चला कि दादी दिल्ली नही पहुंची है। इस बारे में बात करने पर भोला सिंह से हमारे परिवार के लोगों को संतोषजनक जवाब नही मिलने पर हमारी चाची निर्मला देवी ने 16 जून 2012 को अगवा करने की प्राथमिकी औरंगाबाद मुफ्फसिल थाना में दर्ज कराई, जिसे पुलिस ने रफा-दफा कर दिया। इसके बाद इसे लेकर मेरी चाची ने न्यायालय में अभियोग पत्र दाखिल किया।
कहा की चूंकि मेरी दादी पहले से ही मामले के आरोपियों के पास थी। इस वजह से आरोपियों ने पुलिस के समक्ष दादी को प्रस्तुत कर मामले को खत्म करा दिया। इस बीच मामले के आरोपी कुंडा निवासी अशोक कुमार सिंह ने मेरी दादी को भूमि निबंधन कार्यालय में निबंधक के समक्ष प्रस्तुत कर उनसे और उनके पुत्र भोला सिंह से तीन एकड़ चार डिसमिल जमीन की रजिस्ट्री करा ली। रजिस्ट्री दस्तावेज पर भोला सिंह और दादी के हस्ताक्षर है जबकि भोला सिंह तो हस्ताक्षर करते है, लेकिन दादी निरक्षर है, वह ठेपा लगाती है। वह हस्ताक्षर नही करती। इसके बाद 24 जनवरी 2024 को हमलोगों को पता चला कि दादी को कुंडा के अशोक सिंह अपने घर पर रखे हुए है। यह पता चलने पर पुलिस के सहयोग से दादी को मुक्त करा कर घर लाया, तब सारी बात पता चली।
पीड़िता जगमती कुंवर ने फफकते हुए बताया कि वह स्व. रामचंद्र सिंह की दूसरी पत्नी हैं। पहली पत्नी स्व. पनझरी देवी से दो बेटे राजेंद्र सिंह और सत्येंद्र सिंह है जबकि उनका मात्र एक सगा बेटा जितेंद्र सिंह उर्फ भोला सिंह है। कहा कि भोला सगा बेटा होने के बावजूद दगाबाज है जबकि मेरे दोनों सौतेलें बेटे सौतेले होने के बावजूद अपने है। मैं इन्ही दोनों सौतेले बेटों की पत्नियों और उनके बाल-बच्चों के साथ आज राजी खुशी से रह रही हूं। इनसे हमको कोई शिकायत नही है लेकिन मेरा अपना बेटा भोला बहुत बड़ा जाल है और उसने ही आल-जाल कर मुझसे जबरन जमीन लिखवाया है। इसको लेकर मैंने कोर्ट में दो टाइटल सूट नंबर-38/2007 और 163/2015 दायर कर रखा है। मेरे द्वारा टायटल सूट दायर करने के कारण मेरे बेटे भोला और कुंडा के अशोक सिंह ने मेरे दोनों सौतेले बेटो, उनकी पत्नियों और पोतों पर कई केस लाद दिए है, ताकि पूरा परिवार केस मुकदमें में उलझा रहे और परेशान रहे। मुझे न्याय चाहिए और मुझे इस बात की पूरी उम्मीद है कि कोर्ट से इंसाफ मिलेगा।
औरंगाबाद से दीनानाथ मौआर की रिपोर्ट