Bihar News: बिहार में एक हैरान कर देने वाली घटना सामने आई है। जहां सही समय पर इलाज नहीं मिलने के कारण ट्रेन में ही महिला की मौत हो गई। महिला अपने बच्चों के सामने तड़प तड़पकर जिंदगी की जंग हार गई। वहीं माँ की मौत के अनजान बच्चे अपनी माँ को उठाने की कोशिश कर रहे थे जिसे देख वहां मौजूद लोगों की आंखे भर आई। वहीं घटना से नाराज यात्रियों ने रेल कर्मचारियों को इसका दोषी ठहरा रहे हैं।
दिल्ली से आ रहा था बिहार
दरअसल, अपनी पत्नी और दो बच्चों के साथ एक युवक गरीब रथ से दिल्ली से बिहार आ रहा था। शुक्रवार को अचानक गरीब रथ में महिला की तबीयत खराब हो गई। युवक ने रेलवे में इसकी शिकायत की लेकिन कोई नहीं पहुंचा। युवक ने 108 एंबुलेंस बुलाई। एंबुलेंस तो स्टेशन आ गई लेकिन ट्रेन सिग्नल के इंतजार में रास्ते में रुकी रही। जिसके कारण में इलाज में देरी हुई और महिला की मौत हो गई।
अचानक पत्नी की तबीयत बिगड़ी
जानकारी अनुसार सारण जिले के शिवपुरा निवासी इदरीश अंसारी अपनी पत्नी सलमा खातून और दो बच्चों के साथ गरीब रथ से अपने घर जा रहे थे। रास्ते में सलमा खातून की तबीयत बिगड़ गई और उन्होंने दम तोड़ दिया। इस घटना के बाद रेलवे की लापरवाही के आरोप लग रहे हैं। बताया जा रहा है कि बरेली स्टेशन से ट्रेन चलने के बाद सलमा खातून की तबीयत बिगड़ गई। इदरीश अंसारी ने रेलवे कर्मचारियों से मदद मांगी लेकिन उन्हें समय पर कोई सहायता नहीं मिली।
रेलवे से मांगी मदद, एंबुलेंस भी बुलाई लेकिन...
जिसके बाद इदरीश ने डायल 108 को फोन कर एंबुलेंस बुलाई। एंबुलेंस पितांबरपुर स्टेशन पर पहुंच गई लेकिन ट्रेन को रसुईया स्टेशन पर रोका गया। वहीं इलाज नहीं मिल पाने के कारण ट्रेन में ही सलमा खातून ने दम तोड़ दिया। घटना के बाद यात्रियों ने रेलवे कर्मचारियों के खिलाफ हंगामा किया। यात्रियों ने ट्रेन को फूंकने तक की धमकी दे दी।
यात्रियों ने जमकर किया हंगामा
वहीं सूचना मिलने के बाद पुलिस ने मौके पर पहुंचकर स्थिति को नियंत्रित किया। यात्रियों का आरोप है कि रेलवे कर्मचारियों की लापरवाही के कारण सलमा खातून की जान गई। समय पर अगर ट्रेन को रोका गया होता तो शायद उनकी जान बच सकती थी। वहीं शव को फरीदपुर सरकारी अस्पताल में रखवाया गया और पोस्टमार्टम के लिए जीआरपी को सौंप दिया गया। इस घटना की जांच के आदेश दिए गए हैं।