GAYA : भारतीय संस्कृति की सनातन धर्म के प्रति आस्था जताते हुए करीब 160 सदस्यीय विदेशियों की दल ने सामूहिक रूप से गया जी में फल्गु नदी के तट पर स्थित देव घाट पर अपने मृत माता-पिता सहित पूर्वजों के आत्मा के शांति के लिए पिंडदान व तर्पण किया.
ये विदेशी श्रद्धालु रूस यूक्रेन सहित विभिन्न देशों से श्राद्ध का कर्म कांड करने पहुंचे हैं. गयापाल पंडा समाज के कटरयार परिवार द्वारा कर्मकांड संपन्न किया गया. पंडा अरविंद लाल कटरयार बताते हैं कि यह विदेशी इस्कॉन मंदिर के श्रद्धालु है और प्रभुपाद यानि श्री कृष्ण के प्रति आशा व्यक्त करते हैं. ये विदेशी होते हुए भी हर वक्त भगवान श्री कृष्ण का स्मरण करते रहते हैं और सनातन धर्म के प्रति आस्था रखते हैं.
बता दें की गया में पितृपक्ष मेला समापन के बाद भी पितरों के मोक्ष के लिए पिंडदानियों के आने का सिलसिला जारी है. सनातनियों के साथ-साथ विदेशी भी पिंडदान करने आ रहे हैं. सोमवार को रूस और यूक्रेन समेत 19 देशों के 160 विदेशियों ने अपने पूर्वजों का पिंडदान किया.
सोमवार की सुबह सभी विदेशी पिंडदानी फल्गु नदी के तट पर स्थित देवघाट पर पहुंच कर फल्गु स्नान किया. सभी विदेशियों ने सनातन धर्म के प्रति आस्था जताते हुए सामूहिक रूप से गया जी में फल्गु नदी के तट पर स्थित देव घाट पर पूर्वजों की आत्मा की शांति और मोक्ष के लिए पिंडदान व तर्पण किया.
गया से मनोज की रिपोर्ट