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BIHAR NEWS - कस्तूरबा गांधी बालिका आवासीय विद्यालय के छात्राओं का डीएम आवास पर हुआ बाल संवाद, बच्चों ने जिले के एसपी और डीएम से खुलकर पूछे सवाल

BIHAR NEWS - कस्तूरबा गांधी बालिका आवासीय विद्यालय के छात्राओं का डीएम आवास पर हुआ बाल संवाद, बच्चों ने जिले के एसपी और डीएम से खुलकर पूछे सवाल
बाल संवाद में बच्चों ने पूछे रोचक सवाल- फोटो : NEWS4NATION

KAIMUR - कैमूर जिले के कस्तूरबा गांधी बालिका आवासीय विद्यालय के छात्राओं का कैमूर के जिला पदाधिकारी सावन कुमार के सरकारी आवास पर बाल संवाद कार्यक्रम का आयोजन किया गया।वर्ष 2024 की समाप्ति और 2025 के आगमन के अवसर पर जिले के डीएम का कस्तूरबा गांधी बालिका आवासीय विद्यालय के छात्रों के साथ संवाद बहुत रोचक रहा। जिले के डीएम और एसपी का कस्तूरबा आवासीय विद्यालय के साथ संवाद कार्यक्रम का आयोजन जिला पदाधिकारी के पहल पर जिला शिक्षा विभाग द्वारा किया गया था। 

संवाद कार्यक्रम में बच्चों द्वारा म्यूजिक शिक्षक तथा कंप्यूटर शिक्षक की मांग की गई,जिसे तत्काल ही जिला पदाधिकारी द्वारा जिला शिक्षा पदाधिकारी को निर्देशित किया गया कि तुरंत उपलब्ध कराएं तथा अगर अतिरिक्त शिक्षक ना हो तो अन्य विद्यालय से प्रतिनियुक्त कर दें। रटने की जगह समझने पर दिया जोर

जिला पदाधिकारी ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा तथा छात्र जीवन के संस्मरण बच्चों से साझा किया। उन्होंने रटने से अधिक समझने की शक्ति विकसित करने का सलाह दिया।उन्होंने खूब मन लगाकर पढ़ने तथा अपने माता पिता का आदर करने का सलाह दिया।

यू-ट्यूब के अधकचरा ज्ञान से बचें

पुलिस अधीक्षक ने बच्चों से सोशल मीडिया और यूट्यूब के उपयोग के बारे में जानकारी मांगी तथा बताया कि जीवन में मनोरंजन जरूरी है लेकिन मनोरंजन में अधिक समय व्यतीत ना हो,इसका हमेशा ध्यान रखने की आवश्यकता है। छात्र जीवन में सोशल मीडिया और यूट्यूब पर पसरे अधकचरा ज्ञान से सावधान रहने की आवश्यकता है।

गणित से रूचि कैसे बढ़ाएं

एक छात्रा द्वारा गणित के विषय में अभिरुचि विकसित नहीं होने तथा समस्या समाधान में उत्पन्न परेशानी का समाधान के बारे में जानकारी मांगी। पुलिस अधीक्षक ने उन्हें बताया कि गणित का जीवन में क्या जरूरत है जब तक यह नहीं समझेंगे,आपको गणित परेशान करता रहेगा। गणित के चैप्टर के पहले पेज में पृष्ठभूमि लिखी होती है,उसे पढ़ने की जरूरत होती है ताकि समझ विकसित हो सके।सामान्य  तौर से सुबह में गणित बनाने का अभ्यास करना चाहिए ताकि फ्रेश दिमाग में गणित की समस्या का समाधान हो सके।

डीएम बनने के लिए क्या करें

के जी जी आवासीय विद्यालय की एक छात्रा ने जिला पदाधिकारी से पूछा कि मुझे भी आपकी तरह डीएम बनना है, इसके लिए क्या करना पड़ेगा?जिला पदाधिकारी ने उन्हें बताया कि अभी से आधारभूत समझ विकसित करने की आदत बनाएं। धीरे-धीरे क्षमता विकसित करने का प्रयास करें। विषयों को समझने तथा आत्मसात करने की जरूरत है। उन्होंने बच्चों को नियमित रूप से अखबार पढ़ने तथा समसामयिक समस्याओं का यथासंभव समाधान खोजने में नवाचारी उपयोग करने का सलाह भी दिया। 

जिला पदाधिकारी ने छात्राओं से कहा कि किसी भी टॉपिक पर कुछ देर बोलने का प्रयास करें,इससे आपके अंदर आत्मविश्वास का संचार होगा। साथ ही उन्होंने जिला शिक्षा पदाधिकारी को भी निर्देशित किया कि बच्चों का शैक्षणिक टूर 3 माह पर जरूर करावे।

मौके पर आवासीय विद्यालय के छात्राओं द्वारा प्रेरक संस्मरण, कविता, कहानी,चुटकुले आदि भी सुनाए गए जिसे सुनकर जिला पदाधिकारी,पुलिस अधीक्षक सहित जिले के तमाम वरीय पदाधिकारी काफी प्रसन्न हुए। 

बैगलेस शनिवार के तहत कार्यक्रम

मौके पर मौजूद जिला शिक्षा पदाधिकारी ने बताया कि शिक्षा विभाग के नवाचारी पहल बैगलेस शनिवार तथा मोटिवेशनल कार्यक्रम के तहत जिला पदाधिकारी और पुलिस अधीक्षक के द्वारा बाल संवाद कार्यक्रम आयोजित किया गया। इसमें बच्चों ने जिला पदाधिकारी के सरकारी आवास पर पहुंचकर डीएम और एसपी से सीधे संवाद किया तथा उनके घर में भोजन भी ग्रहण किया। 

इस कार्यक्रम का उद्देश्य बच्चों में लक्ष्य के प्रति जागरूकता, आत्मविश्वास का संचार,भविष्य में करियर बनाने हेतु व्यापक मार्गदर्शन के साथ-साथ जिले के सबसे सर्वोच्च पदाधिकारी के साथ संवाद स्थापित करना था। बाद में जिला पदाधिकारी द्वारा बच्चों को उपहार स्वरूप पुस्तक तथा कलम आदि भी दिया गया। 

विदित है कि जिले में 15 कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालय मौजूद हैं,  जिनकी आवासन की क्षमता 1600 छात्राओं की है। वर्तमान में 1371 बच्चों का नामांकन है। इस विद्यालय में पढ़ने वाले लड़कियों को सरकारी स्तर पर सभी सुविधाएं दी जाती है। बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना को सार्थक बनाने के लिए कस्तूरबा गांधी बालिका आवासीय विद्यालय में वर्तमान में 12वीं कक्षा तक पढ़ाई होती है। इस विद्यालय का उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों में वंचित समुदायों के बीच लैंगिक असमानता को दूर करने तथा प्राथमिक स्तर पर लड़कियों के नामांकन में लड़कों की तुलना में विशेष रूप से उच्च प्राथमिक स्तर पर महत्वपूर्ण अंतर को पाटना है।

मौके पर जिलाधिकारी सपत्नीक,पुलिस अधीक्षक,उप विकास आयुक्त,अनुमंडल पदाधिकारी सदर,भूमि सुधार उप समाहर्ता,जिला सूचना एवं जनसंपर्क पदाधिकारी सहित जिले के अन्य वरीय पदाधिकारी भी मौजूद थे।

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