Bihar Tourism : पर्यटन स्थल के रूप में विकसित होगा मुंगेर जिले में स्थित सीता कुंड, सर्वेक्षण टीम ने स्थान का लिया जायजा

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MUNGER : जिले में स्थित सीता कुंड एक अत्यंत पौराणिक एवं धार्मिक स्थल है, जिसका संबंध सीधे रामायण काल से जुड़ा हुआ है। ऐसी मान्यता है कि त्रेतायुग में यह स्थल ऋषि-मुनियों की तपोभूमि हुआ करता था। लंका विजय के उपरांत भगवान श्रीराम अपनी धर्मपत्नी माता सीता एवं अपने भाइयों के साथ मूगदल ऋषि के दर्शन हेतु इस स्थल पर आए थे। मुगदल ऋषि के आदेशानुसार, यहीं पर माता सीता की सतीत्व की अग्नि परीक्षा संपन्न हुई थी। 

इस परीक्षा के दौरान माता सीता ने प्रज्वलित अग्नि में अपने ललाट का पसीना समर्पित किया, जिससे अग्नि रूपी जल की उत्पत्ति हुई। यह जल स्रोत आज भी गर्म जल के रूप में सीता कुंड में प्रवाहित होता है, जो इस स्थान की पौराणिकता और चमत्कारी स्वरूप को दर्शाता है।इस धार्मिक और ऐतिहासिक महत्व को ध्यान में रखते हुए बिहार सरकार के पर्यटन विभाग द्वारा सीता कुंड के समग्र विकास की दिशा में कार्य प्रारंभ कर दिया गया है। 

आज पर्यटन विभाग की टीम ने स्थल पर पहुंचकर ऊंचाई, लंबाई और कार्य क्षेत्र का विस्तृत सर्वेक्षण किया। सर्वेक्षण टीम के साथ सीता कुंड विकास समिति के सदस्यों ने भी निरीक्षण किया। यह पहल न केवल इस धार्मिक स्थल को राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने का कार्य करेगी, बल्कि क्षेत्रीय आस्था, सांस्कृतिक विरासत और पर्यटन को भी नई ऊंचाइयों तक पहुंचाएगी।

मुंगेर से इम्तियाज़ की रिपोर्ट