21 मिनट में ही स्थगित हुई बिहार विधानसभा की कार्यवाही, काला कपड़ा पहनकर पहुंचे विपक्षी सदस्यों ने सदन में किया भारी बवाल, CM नीतीश के खिलाफ हंगामा
कार्यवाही शुरू होने के 21 मिनट बाद ही विधानसभा अध्यक्ष नंद किशोर यादव ने सदन की कार्यवाही दोपहर 2 बजे तक के लिए स्थिगित कर दी. उन्होंने विपक्ष को फटकार भी लगाई.

Bihar Vidhansabha : बिहार विधानसभा के मानसून सत्र के दूसरे दिन सदन की कार्यवाही शुरू होते ही सदन में विपक्ष ने भारी बवाल मचाया. काले कपड़ों में आए विपक्षी सदस्यों ने अध्यक्ष की आसंदी के सामने जाकर विरोध प्रदर्शन किया और नीतीश सरकार के खिलाफ नारेबाजी की. सदन की कार्यवाही शुरू होने पर शिक्षा विभाग से जुड़े सवालों को जब लिया जाने लगा तो उस समय विपक्षी सदस्यों ने सदन की कार्यवाही का विरोध जताते हुए नीतीश सरकार के खिलाफ नारेबाजी. हालांकि अध्यक्ष नंद किशोर यादव की ओर से बार बार विपक्षी सदस्यों को कहा गया कि आप लोग जानबुझकर सिर्फ शोर-गुल कर रहे हैं. उनकी ओर से बार बार की गई अपील के बाद भी विपक्ष का हंगामा जारी रहा.
वहीं सदन में जारी भारी हंगामा, नीतीश कुमार के खिलाफ चल रही नारेबाजी, पोस्टर लहराते सदस्यों पर अध्यक्ष की अपील का कोई असर नहीं होना और सदन में अराजक होती स्थिति के बीच कार्यवाही शुरू होने के 21 मिनट बाद ही विधानसभा अध्यक्ष नंद किशोर यादव ने सदन की कार्यवाही दोपहर 2 बजे तक के लिए स्थिगित कर दी. उन्होंने विपक्ष को फटकार लगते हुए कहा कि आपकी मंशा सिर्फ सदन में हंगामा करना है. जनता की बात रखने से आपको कोई मतलब नहीं है.
इसके पहले सदन की कार्यवाही शुरू होने के पहले ही विपक्ष ने जमकर नारेबाजी की. सदन के प्रवेश द्वार पर विपक्षी सदस्यों ने काला कपड़ा पहनकर विरोध प्रदर्शन किया. हाथो में पोस्टर लेकर विरोध प्रदर्शन कर रहे विपक्षी सदस्यों ने नीतीश कुमार नीत एनडीए सरकार को जनविरोधी बताते हुए विधानसभा के प्रवेश द्वार की सीढियों पर बैठकर प्रदर्शन किया. यहां तक कि जब विधानसभा अध्यक्ष नंद किशोर यादव सदन में प्रवेश करने के लिए पहुंचे तो उस समय भी विपक्ष का प्रदर्शन जारी रहा. इससे उन्हें विधानसभा परिसर में प्रवेश करने में मशक्कत करनी पड़ी. एक तरह से विपक्ष के सदस्यों ने उनका रास्ता रोककर प्रदर्शन किया.
इसके पहले सोमवार को सत्र के पहले दिन ही विपक्षी दलों ने मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण को लेकर जोरदार हंगामा किया और राजग सरकार पर मतदाता सूची में धांधली का आरोप लगाया। विपक्षी सदस्यों ने वेल में आकर प्रदर्शन किया, पोस्टर लहराए और सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाज़ी की, जिससे सदन की कार्यवाही स्थगित करनी पड़ी।
इस बार का मानसून सत्र नीतीश सरकार के वर्तमान कार्यकाल का अंतिम सत्र माना जा रहा है। यह 25 जुलाई तक चलेगा। इस सत्र के दौरान राज्यपाल द्वारा स्वीकृत अध्यादेशों की प्रतियाँ सदन में रखी जाएँगी,अलग-अलग समितियों की रिपोर्ट पेश होंगी, 23 जुलाई को राजकीय विधेयक सदन में लाए जाएंगे,24 जुलाई को अनुपूरक बजट पर चर्चा व मतदान, फिर विनियोग विधेयक लाया जाएगा, 25 जुलाई को गैर सरकारी संकल्पों पर चर्चा होगी।