पटना: सहारा इंडिया समूह की चार को-ऑपरेटिव सोसाइटीज में देशभर के लगभग 10 करोड़ निवेशकों का करीब एक लाख करोड़ रुपये फंसा हुआ है। इनमें से बिहार के 33 हजार निवेशकों के लगभग 410 करोड़ रुपये भी फंसे हुए हैं। सहारा में फंसे हजारों निवेशकों के लिए खुशकबरी है, सरकार ने उनके लिए बड़ा निर्णय लिया है.आप https://mocresubmit.crcs.gov.in/ पर जाकर ऑनलाइन अप्लाई कर सकते हैं.
केंद्र सरकार ने इस समस्या को हल करने के लिए कदम उठाए हैं। हाल ही में, कुछ निवेशकों को उनकी जमा राशि में से 10 हजार रुपये वापस मिले हैं। इसके अलावा, केंद्र सरकार ने यह राशि बढ़ाकर 50 हजार रुपये करने का निर्णय लिया है, जिससे निवेशकों में उम्मीद जगी है। वित्त विभाग ने इस संबंध में निवेशकों को जागरूक करने का निर्देश दिया है।
सहारा इंडिया समूह ने सीआरसी सहारा रिफंड पोर्टल जारी किया है, जिसके माध्यम से निवेशक अपनी बकाया राशि का दावा कर सकते हैं। जिला प्रशासन ने इस पोर्टल के बारे में जानकारी देने के लिए अपने आधिकारिक वेबसाइट पर निर्देश जारी किए हैं। यह पोर्टल उन सभी खाताधारकों के लिए महत्वपूर्ण है जिनकी जमा राशि वर्षों से फंसी हुई है।
बहुत से खाताधारक अपनी मेहनत की कमाई सहारा इंडिया में जमा कर चुके थे। समय पर भुगतान न मिलने के कारण कई परिवारों की योजनाएँ प्रभावित हुई हैं।
हाल ही में सुप्रीम कोर्ट ने सहारा समूह को निर्देश दिया कि वह अपने शीर्ष अधिकारियों और मौजूदा शेयरधारकों की जानकारी प्रदान करे और उन संपत्तियों की सूची भी उपलब्ध कराए जिन्हें बेचकर 10 हजार करोड़ रुपये जुटाए जा सकते हैं। अदालत ने कहा कि इन संपत्तियों को बेचकर प्राप्त धनराशि को सेबी-सहारा रिफंड खाते में जमा किया जाना चाहिए ताकि निवेशकों का पैसा लौटाया जा सके।
सहारा इंडिया समूह में फंसे हजारों निवेशकों के पैसे निकालने का रास्ता साफ हो गया है