दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल के पीएस बिभव कुमार की मुश्किलें कम होती नजर आ रही है। सीएम आवास में पार्टी की राज्य सभा सांसद स्वाति मालीवाल से मारपीट के मामले में जेल में बंद बिभव को जहां गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट ने जमानत पर रिहा करने से इनकार कर दिया था। साथ ही बिभव को गुंडा बताया था। वहीं शुक्रवार को अब दिल्ली हाईकोर्ट ने बिभव को झटका दिया है.
हाईकोर्ट ने बिभव कुमार की उस याचिका को खारिज कर दिया है जिसमें उन्होंने अपनी गिरफ्तारी को चुनौती दी थी। बिभव को आम आदमी पार्टी की राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल की ओर से लगाए गए आरोपों के बाद दिल्ली पुलिस ने गिरफ्तार किया था।
जस्टिस नीना बंसल कृष्णा की अदालत ने कहा, 'याचिका खारिज की जाती है।' बिभव कुमार इस समय न्यायिक हिरासत में हैं।
उनके वकील ने उनकी गिरफ्तारी को अवैध बताते हुए दलील दी कि एफआईआर दर्ज करने में देरी हुई और उन्हें 18 मई को गिरफ्तार किया गया, जबकि इसी दिन बिभव ने अपनी मर्जी से जांच में शामिल होने के लिए पुलिस को आवेदन दिया था। पुलिस ने इस याचिका का विरोध करते हुए कहा कि कुमार को 'जल्दबाजी में' गिरफ्तार नहीं किया गया था और इसमें किसी भी तरह की कोई गलती नहीं हुई है।
अदालत ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद 8 जुलाई को कुमार की याचिका पर फैसला सुरक्षित रख लिया था। कुमार के खिलाफ 16 मई को भारतीय दंड संहिता के तहत, आपराधिक धमकी, साक्ष्य नष्ट करने तथा गैर इरादतन हत्या के प्रयास से संबंधित प्रावधानों के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई थी। पहले निचली अदालत और फिर उच्च न्यायालय ने बिभव की जमानत याचिका खारिज कर दी थी और यह मामला उच्चतम न्यायालय में लंबित है।