विपक्ष के विरोध के बाद अब सर्वोच्च न्यायालय पहुंचा नए संसद भवन का मामला, राष्ट्रपति से उद्घाटन कराने की हुई मांग

पटना/दिल्ली. नए संसद भवन के उद्घाटन का मामला अब सर्वोच्च न्यायालय जा पहुंचा है. एक जनहित याचिका दायर कर यह निर्देश देने की न्यायालय से मांग की गई है कि नये संसद भवन का उद्घाटन भारत के राष्ट्रपति द्वारा किया जाना चाहिए.

नये संसद भवन के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा उद्घाटन का कांग्रेस, टीएमसी, राजद, जदयू समेत 19 पार्टियों ने विरोध किया है. रविवार 28 मई को होने वाले उद्घाटन समारोह का इन पार्टियों ने कार्यक्रम का बहिष्कार करने की बात कही है. मांग की है कि इसका उद्घाटन राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु द्वारा किया जाना चाहिए. वहीं, असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी एआईएमआईएम ने कहा है कि अगर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला नये संसद भवन का उद्घाटन नहीं करेंगे, तो उनकी पार्टी भी उद्घाटन समारोह का विरोध करेगी.

कांग्रेस का प्रधानमंत्री पर हमला : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा नये संसद भवन के उद्घाटन की बात सामने आने के बाद से इसका विरोध कर रही कांग्रेस पार्टी ने आज फिर से प्रधानमंत्री पर हमला बोला है. कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने कहा है कि राष्ट्रपति को इस कार्यक्रम में न बुलाना उनका अपमान है. 

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उन्होंने कहा कि ये एक इंसान का अहंकार है जो राष्ट्रपति से उनका हक छीन रहा है. रमेश ने आगे कहा प्रधानमंत्री मोदी के आत्म- प्रचार की इच्छा ने पहली आदिवासी महिला राष्ट्रपति को नये संसद भवन का उद्घाटन करने से वंचित कर दिया है.