DESK : मध्य प्रदेश के सिंगरौली में एक एएसआई को भाजपा नेता ने जान से मारने की धमकी दी, जिसके बाद गुस्से में उसने अपने सीनियर और नगर निगम के अधिकारियों के सामने वर्दी फाड़ दी। जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है। वहीं वीडियो सामने आने के बाद कांग्रेस मोहन यादव की सरकार पर हमलावर होते हुए इसे सत्ता की हनक बता दिया है। वर्दी फाड़नेवाले एएसआई का नाम विनोद मिश्रा बताया गया है। वह बैढ़न थाने में पदस्थ हैं।
फरवरी का है वीडियो
एएसआई के वर्दी फाड़ने का यह इसी साल दो फरवरी का है, जब बैढ़न थाने के थाना प्रभारी के चैंबर में नगर निगम के अधिकारी सहित कई भाजपा नेता भी बैठे हुए थे। कुछ लोग चाय पी रहे थे। इसी दौरान एएसआई विनोद मिश्रा अपनी कुर्सी से उठे और अपनी वर्दी फाड़ दी। जिसके बाद वह अपनी पैंट भी उतारने लगे। एएसआई की इस हरकत को देख वहां मौजूद सभी लोग हैरान हो गए। सभी लोगों ने उन्हें ऐसा करने से रोका। अब इस घटना के लगभग सात महीने बाद वीडियो सामने आया है।
जिसके बाद अपनी वर्दी फाड़नेवाले दारोगा भी सामने आए हैं. उन्होंने बताया कि उस दिन चैंबर में भाजपा नेता और पार्षद पति अर्जुन दास गुप्ता बैठे थे। उन्होंने थाना प्रभारी के सामने ही मुझे वर्दी उतरवा देने की धमकी दी। ये सुनकर मेरा बीपी बढ़ गया था। इस दौरान मुझे कुछ नहीं सूझा और मैंने वर्दी उतार दी।
एएसआई ने बताया कि उनके घर के सामने से एक नाली और सड़क निकल रही है। जिसको लेकर भाजपा नेता अर्जुन दास गुप्ता, पड़ोसी मनोज पांडेय और हरीश चौधरी मुझसे रंजिश रखते हैं। उनका कहना है कि मैनें उन पर अतिक्रमण कर लिया है। इसे लेकर कई बार न सिर्फ थाने में शिकायत हुई, बल्कि तत्कालीन पुलिस अधीक्षक के पास भी शिकायत की गई थी। जबकि जांच के बाद भी नगर निगम अमला यह खुद मानता है कि वहां न मैंने कोई अतिक्रमण किया है, और न ही अब वहां किसी नाली की जरूरत है। इसके बाद भी रंजिश के चलते मुझसे विवाद किया गया।
मामले में जब बीजपी नेता अर्जुन दास गुप्ता से बात की गई तो उनका कहना था कि यह सारे पूरी तरह से बेबुनियाद हैं। उन्होंने बताया कि जहां पर विनोद मिश्रा का घर है, वहां नाली और सड़क निर्माण होना है। इस मामले को लेकर थाना प्रभारी के चैंबर में बातचीत चल रही थी। इस दौरान विनोद मिश्रा ने अचानक आवेश में आकर खुद ही अपनी वर्दी फाड़ दी।
TI ने कहा- पुलिस का कोई झगड़ा नहीं था
वर्दी फाड़ने की घटना को लेकर वीडियो में नजर आ रहे तत्कालीन थाना प्रभारी रहे सुदेश तिवारी ने भी बताया कि विनोद मिश्रा और अर्जुन दास के बीच विवाद चल रहा था। जिसमें दोनों को चेंबर में समझाने के लिए बुलाया गया था। इस दौरान अर्जुन दास ने कुछ कहा था, जिससे आगबबूला होकर विनोद मिश्रा ने अपनी वर्दी फाड़ दी थी।
वहीं सिंगरौली एसपी निवोदिता गुप्ता ने बताया कि जब यह घटना हुई थी, तब मैंने यहां ज्वाइन किया था। मेरे संज्ञान में भी यह मामला सामने आया था। जिसमें एएसआई विनोद मिश्रा को वर्दी का अपमान करने को लेकर वेतन वृद्धि रोकने की कार्रवाई की गई थी। इस दौरान एसपी ने यह भी साफ कर दिया कि वह इस मामले की जांच कराएंगी कि सात महीने बाद यह वीडियो कैसै वायरल हुआ है।
कांग्रेस बोली- ये सत्ता की हनक है
वहीं इस मामले में कांग्रेस हमलावर मोड में आ गई है। कांग्रेस ने एमपी सरकार पर आरोप लगाते हुए इसे सत्ता की हनक करार दिया है। कांग्रेस ने एक्स पर लिखा 'यह सत्ता की हनक है... भाजपा के पार्षद की धमक देखिए... एक वर्दीधारी को अपनी वर्दी फाड़ना पड़ गई !! प्रदेश में पुलिसिंग का स्तर जीरो हो गया है! अपराध अनियंत्रित हैं, अपराधी बेखौफ और पुलिस कहीं लाचार तो कहीं दबाव में है. यह वायरल वीडियो सिंगरौली के बैढन थाने का बताया जा रहा है, जहां BJP पार्षद के दबाव से एक पुलिसकर्मी इतने परेशान हो गए कि अपनी वर्दी तक फाड़ ली! यानि मुख्यमंत्री मोहन यादव के प्रभाव में गृह विभाग की दशा और दिशा दोनों बिगड़ चुकी है! जनता को न्याय कैसे मिलेगा, जब पुलिस को ही अपनी वर्दी फाड़नी पड़ रही है!'