PATNA : बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने 2024 लोकसभा चुनाव से पहले बड़ा दांव चला है. तो अब बीजेपी भी तेलंगाना में सीएम नीतीश कुमार के दांव को अपने स्टाइल में चलने जा रही है. जिसका एलान भी खुद अमित शाह ने कर दिया. तेलंगाना के जनगांव में चुनावी रैली अमित शाह ने कहा है कि आप हमारी सरकार बनाइए हम मुसलमानों का आरक्षण बंद कराकर ओबीसी,एससी और एसटी को आरक्षण देंगे.
दरअसल, बिहार में आरक्षण का दायरा अब 75 फीसदी हो गया. बिहार विधानमंडल के शीतकालीन सत्र में विधानसभा और विधान परिषद में सर्वसम्मति से आरक्षण संशोधन बिल पारित हुआ था. जिसे बिहार के राज्यपाल राजेंद्र आर्लेकर की मंजूरी भी मिल गई है. कुछ मिलाकर कहें तो सीएम नीतीश कुमार ने अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, अति पिछड़ा जाति, पिछड़ा वर्ग को 65 फीसदी आरक्षण दे दिया. वहीं, आर्थिक रूप से कमजोर सामान्य वर्ग वाले लोगों को पहले की तरह 10 प्रतिशत आरक्षण का प्रावधान लागू रहेगा. कहा जा रहा है कि ये बड़ा दांव है.
शाह ने कर दी बड़ी घोषणा
फिलहाल बिहार में बीजेपी इस दांव को काटने के लिए रणनीति बना रही है. इसी बीच गृहमंत्री अमित शाह ने तेलंगाना के जनगांव में चुनावी रैली में कहा है कि केसीआर ने ओवैसी के दबाव में आकर पिछड़ा वर्ग, ओबीसी और एसटी का आरक्षण छीनकर मुसलमानों को आरक्षण देने का काम किया है. आप हमारी सरकार बना दो हम मुस्लिम आरक्षण बंद कराकर पिछड़े वर्ग को आरक्षण देंगे. सत्ता में आने के बाद तेलंगाना में 4 फीसदी मुस्लिम आरक्षण को खत्म देंगे. यहां पर तुष्टीकरण की राजनीति को बढ़ावा देने के लिए मुस्लिम आरक्षण दिया गया. उन्होंने यह भी कहा कि तेलंगाना के आगामी विधानसभा चुनाव देश का भविष्य तय करेंगे.
अमित शाह के इस बयान के कई मायने निकाले जा रहे हैं. पर सवाल ये है कि अगर तेलंगाना में अमित शाह का दांव कामयाब होता है तो, क्या देश भर में पिछड़े वर्ग को खुश करने के लिए बीजेपी कोई बड़ा दांव खेल सकती हैं. खैर हो जो भी, बिहार में जो मास्टर स्ट्रोक सीएम नीतीश कुमार ने चला, उसके गृहमंत्री अमित शाह को भी पिछड़ा वर्ग, ओबीसी और एसटी आरक्षण के रास्ते में आना पड़ा है.
गौरतलब है कि तेलंगाना विधानसभा की 119 सीटों पर मतदान आगामी 30 नवंबर को होगा जिसके परिणामों की घोषणा बाकी चार और राज्यों के साथ ही 3 दिसंबर को होगी