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मोतिहारी में लाखों के जीवन रक्षक दवा जलाने मामले के लीपापोती में जुटा सीएस कार्यालय, 20 दिन बाद भी नहीं हुई कार्रवाई

मोतिहारी में लाखों के जीवन रक्षक दवा जलाने मामले के लीपापोती में जुटा सीएस कार्यालय, 20 दिन बाद भी नहीं हुई कार्रवाई

MOTIHARI : मोतिहारी के अरेराज अनुमंडलीय अस्पताल में लाखों के बिना एक्सपायरी दवा जलाने के मामले के 20 दिन बीतने के बाद सीएस कार्यालय कार्रवाई नही कर लीपापोती में जुटा है। जबकि दवा जलाने मामले में सीओ के जांच रिपोर्ट में 24 व 25 में एक्सपायर होने वाली दवा जलाने का मामला सत्य पाए जाने व सैंपल जपत किये जाने के बाद अरेराज एसडीओ ने कार्रवाई को लेकर अपना प्रतिवेदन दिया था। 

मामला संज्ञान में आने के बाद सीएस द्वारा भी घटना के 5 दिन बाद तीन सदस्यीय टीम का गठन कर दवा जलाने का जांच कराया गया था। जांच टीम के रिपोर्ट में भी दवा जलाने का मामला सत्य पाया गया था। मामला संज्ञान में आने व अरेराज एसडीओ व जांच टीम के रिपोर्ट के बाद भी लाखो के बिना एक्सपायरी जीवन रक्षक दवा जलाने जैसे गंभीर मामला पर भी कार्रवाई नही होने की चर्चा क्षेत्र में जोरों पर है। वही सीएस द्वारा दवा जलाने के मामले में बीएचएम पर कार्रवाई को लेकर स्वास्थ्य विभाग प्रधान सचिव को पत्र लिखा गया है।

मोतिहारी जिला के अरेराज अनुमंडलीय अस्पताल में 29 दिसम्बर को दिन के उजाले में ऑक्सीजन प्लांट के बगल में लाखों का जीवन रक्षक दवा अस्पताल प्रबंधन द्वारा जलाया जा रहा था। दवा जलाने के सूचना पर अरेराज एसडीओ अरुण कुमार ने त्वरित संज्ञान लेते हुए अरेराज सीओ से जांच कराया गया। सीओ के जांच में दवा जलाने का मामला सत्य पाया गया। वही जलते दवा से लिये गए सैंपल में बिना एक्सपायरी दवा जलाते पाया गया। सीओ के जांच रिपोर्ट के बाद अरेराज एसडीओ द्वारा अस्पताल उपाधीक्षक से स्पष्टीकरण की मांग किया गया। 

सूत्रों के अनुसार अस्पताल उपाधीक्षक द्वारा एसडीओ को दिए गए स्पष्टीकरण के जबाब में दवा जलाने के मामले को ठोस जवाब नही दिया गया था। वही अस्पताल उपाधीक्षक द्वारा एसडीओ को दूसरे जवाब में बीएचएम की गलती बताया गया। वही एसडीओ ने जांच प्रतिवेदन के साथ  करवाई के लिए जिला को जांच रिपोर्ट भेज दिया गया। वही सीएस द्वारा भी तीन सदस्यीय जांच टीम का गठन किया गया। जांच टीम द्वारा दो दिन अनुमंडलीय अस्पताल पहुचकर दवा जलाने की जांच किया गया ।वही जांच टीम द्वारा भी सीएस को अपना जांच रिपोर्ट दवा जलाने का मामला सत्य पाते हुए दिया गया। जिला में आमलोगों में चर्चा बना हुआ है कि अस्पताल आने वाले मरीज दवा के लिए भटक रहे। वही अस्पताल प्रबंधन द्वारा लाखो का जीवन रक्षक दवा जलाया जा रहा था। 

जांच रिपोर्ट मिलने के बाद भी स्वास्थ्य विभाग दोषी पर करवाई करने के बदले लीपापोती में जुटा है। सीएस कार्यालय बिना एक्सपायरी दवा जलाने की जांच रिपोर्ट मिलने के बाद भी करवाई करने के बदले 20 दिन बाद भी पत्राचार करने में जुटी है। दोषी पर करवाई नही होने को लेकर जितनी मुह उतनी बात सुनने को मिल रही है। वही मोतिहारी सीएस अंजनी कुमार ने बताया कि दवा जलाने मामले में करवाई कर दिया गया है। सभी जांच प्रतिवेदन के साथ करवाई को लेकर प्रधान सचिव स्वाथ्य विभाग पटना को पत्र भेज दिया गया है।

मोतिहारी से हिमांशु की रिपोर्ट 

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