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पैसा के बदले सवाल कांड में सरकारी गवाह बने दर्शन हीरानंदानी, महुआ मोइत्रा पर लगे आरोप सच्चे, संसद अकाउंट के पासवर्ड दिए, PM मोदी को करना चाहती थीं बदनाम

पैसा के बदले सवाल कांड में सरकारी गवाह बने दर्शन हीरानंदानी, महुआ मोइत्रा पर लगे आरोप सच्चे, संसद अकाउंट के पासवर्ड दिए, PM मोदी को करना चाहती थीं बदनाम

तृणमूल कांग्रेस की सांसद महुआ मुश्किल में फंसती जा रही हैं. संसद के लॉगइन और पासवर्ड शेयर किए जाने के मामले में बड़ा खुलासा हुआ है, और यह खुलासा व्यवसायी दर्शन हीरानंदानी ने की है. हीरानंदानी ने हलफनामे में साफ कहा कि महुआ मोइत्रा पर लगे आरोप सही हैं. हीरानंदानी ने कहा कि महुआ ने अपने संसद के लॉगइन और पासवर्ड साझा किए थे.  प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को बदनाम करने के लिए उन्होंने अडाणी को टार्गेट किया.बता दें भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने यह मामला उठाया था. उन्होंने महुआ मोइत्रा पर आरोप लगाया था कि उन्होंने पैसे लेकर संसद में सवाल पूछे हैं. इसी बीच दर्शन हीरानंदानी का एक शपथपत्र गुरुवार को मीडिया में आया. इसमें कहा गया है कि संसद में पूछे जाने वाले सवाल दर्शन हीरानंदानी ने ही संसद की वेबसाइट में महुआ के अकाउंट पर अपलोड किए थे. अडाणी अदाणी ग्रुप को टारगेट करने के लिए दर्शन ने सवाल भेजे थे.

रिश्वत लेकर संसद में सवाल पूछने के मामले में टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा की मुश्किलें बढ़ती दिख रही है. पैसे लेकर सवाल पूछने के मामले में आरोपी उद्योगपति दर्शन हीरानंदानी सरकारी गवाह बन गया है. और उसने दावा किया है कि उसने केंद्र सरकार से सवाल पूछने के लिए लोकसभा सांसद महुआ मोइत्रा के संसदीय लॉगिन का इस्तेमाल किया था.दर्शन हीरानंदानी ने कबूलनामे में इसे स्वीकार किया है. हीरानंदानी ने यह भी स्वीकार किया है कि तृणमूल कांग्रेस की सांसद महुआ मोइत्रा राजनीति में तेजी से आगे बढ़ना चाहती थीं और इसके लिए वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को निशाना बनाना चाहती थीं। इसी वजह से महुआ ने अडाणी को टारगेट किया. 

हीरानंदानी ने हलफनामे में यह भी कहा कि प्रधानमंत्री-अदाणी को निशाना बनाने के लिए महुआ मोइत्रा कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी के लगातार संपर्क में थीं. इस काम में महुआ की मदद सुचेता दलाल, शार्दूल श्रॉफ और पल्लवी श्रॉफ कर रहे थे. महुआ की मदद कांग्रेस नेता शशि थरूर और पिनाकी मिश्रा ने भी की. इस काम में विदेशी पत्रकारों की भी सहायता ली गई. हीरानंदानी ने यह भी कहा कि वह महुआ मोइत्रा को महंगे तोहफे देते थे. महुआ के सरकारी आवासी की मरम्मत भी कराई.उनकी छुट्टियों का खर्च भी उठाता था.

इस आरोपों पर महुआ मोइत्रा ने भी जवाब दिया था.महुआ ने अपने एक्स (पहले ट्विटर) हैंडल पर लगातार तीन पोस्ट किए. पहली पोस्ट में उन्होंने लिखा, ''अगर अडानी ग्रुप ने मुझे चुप कराने या नीचे गिराने के लिए संघियों और फर्जी डिग्री धारकों के झूठे दस्तावेजों पर विश्वास करने का फैसला किया है, तो मैं कहती हूं, अपना समय बर्बाद मत करो, अपने वकीलों का इस्तेमाल करो.'' बाद में निलंबन प्रस्ताव को लेकर बीजेपी पर हमला बोलते हुए महुआ ने लिखा, ''इन फर्जी डिग्री धारकों और तथाकथित बीजेपी व्यवहारवादियों के खिलाफ कई लाभों के उल्लंघन के आरोपों की सुनवाई अभी बाकी है. आप संसद में मेरे खिलाफ कोई भी प्रस्ताव ला सकते हैं. लेकिन मुझे उम्मीद है कि उससे पहले माननीय अध्यक्ष बाकी मुद्दों पर भी विचार करेंगे."अपने ट्वीट में महुआ ने लिखा, ''मैं सीबीआई का भी स्वागत करती हूं. वे मेरे खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग की जांच दर्ज कर सकते हैं. लेकिन उससे पहले उन्हें यह पता लगाना होगा कि अडानी का सारा पैसा चालान और बेनामी खातों के जरिए विदेशों में कैसे पहुंच रहा है.''

वहीं  बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने केंद्रीय आईटी मंत्री अश्विनी वैश्णव और राज्य मंत्री राजीव चंद्रशेखर को जांच के लिए पत्र लिखा है. बीजेपी सांसद ने आरोप लगाए हैं कि महुआ ने हीरानंदानी और उनके रियल एस्टेट समूह हीरानंदानी समूह को लोकसभा की वेबसाइट का एक्सेस दिया. वो इसका उपयोग अपने निजी लाभ के लिए कर सकें। निशिकांत दुबे के मुताबिक, अगर ये अपराध सत्य है तो ये संभवत: उनपर लगे सभी आरोपों में से सबसे अधिक गंभीर है. ये न केवल गंभीर अपराध है, बल्कि राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ा मामला भी है. बीजेपी सांसद ने आईटी मंत्रालय से महुआ के लोकसभा वेबसाइट की लॉगइन क्रेडेंशियल्स और उनके आईपी एड्रेस की जांच करने की मांग की है. उल्लेखनीय है कि ऐसा करने से ये पता चल सकेगा कि कहां-कहां से लोकसभा वेबसाइट को एक्सेस किया गया है.उन्होंने टीएमसी सांसद के इस आचरण को अनैतिक, गैरकानूनी और देश की सुरक्षा के लिए गंभीर खतरा करार दिया है. बीजेपी सांसद ने दावा किया कि लोकसभा में महुआ ने कुल 61 सवाल पूछे थे, जिसमें से 50 सवाल ऐसे थे, जो कि राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़े थे और ये व्यवसायिक हितों औऱ उन्हें बनाए रखने के लिए पूछे गए थे. दुबे ने ये भी दावा किया कि महुआ द्वारा पूछे गए ज्यादातर अदाणी समूह को टार्गेट करने के लिए थे. पैसे लेकर लोकसभा में सवाल पूछने के मामले में निशिकांत दुबे ने लोकसभा स्पीकर ओम बिड़ला को पत्र लिखकर शिकायत की थी.

 

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