PATNA: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के जनता दरबार में भी अगर किसी को न्याय ना मिले, तो वह कहां जाए? ऐसी ही परिस्थिति में है बिहार तकनीकी सेव आयोग के अभ्यर्थी। दरअसल, साल 2019 में कनीय अभियंता की बहाली प्रक्रिया 2 सालों में भी पूरी नहीं होने से अभ्यर्थी खासा परेशान और चिंतित हैं।
इसी को लकर पटना के वीरचंद पटेल पथ पर परेशान छात्र बीजेपी से लेकर आरजेडी आफिस होते हुए बिहार तकनीकी सेव आयोग के दफ्तर तक कतारबद्ध तरीके से खड़े हो गए। छात्रों ने बताया कि वह सभी बिहार तकनीकी सेवा आयोग द्वारा साल 2019 में निकाली गई कनीय अभियंता में शामिल हुए थे। इन सभी ने आयोग द्वारा संचालित काउंसलिंग प्रक्रिया में भाग लिया है। यह प्रक्रिया 11 जनवरी 2021 को पूर्ण हो चुकी है। तदोपरांत वेरिफिकेशन के पश्चात दावा आपत्ति भी किया गया। सारी आपत्ति की जांच के उपरांत अंतिम सूची तैयार कर ली गई है फिर भी मेधा सूची जारी नहीं की गई। इस संबंध में छात्रों ने मुख्यमंत्री के जनता दरबार में गुहार लगाई थी।
गौर करने वाली बात यह है कि छात्रों ने जब सीएम से इस मामले की गुहार लगाई तो आयोग हरकत में आ गया और अगस्त के प्रथम सप्ताह में मेधा सूची जारी करने की बात कही। अब अगस्त का अंतिम सप्ताह चल रहा है, मगर हालात लचर हैं। ज्ञात हो कि यह बहाली आयोग के प्रथम पाली की है। उसके बाद आई सभी बहाली समय से पूर्ण कर ली गई है। वहीं डॉक्टर की बहाली में 3 माह के अंदर विज्ञापन तथा मेधा सूची की भी जारी कर दी जा रही है, मगर कनीय अभियंता की बहाली 3 वर्षों से भी पूर्ण नहीं हो पाई है। अंतिम मेधा सूची तैयार होने के बाद वेरिफिकेशन के नाम पर विभाग बहाली को फंसाने की कोशिश कर रहा है और अतिरिक्त 6 माह का समय मांग रहा है।
इस संबंध में अभ्यर्थियों का बस इतना ही कहना है कि JE 2019 में 6379 पदों वेंकैसी निकाली गई थी। जिसकी काउंसिलिंग जनवरी 2021 में पूरा कर ली गई। अब तक मैरिट लिस्ट जारी नहीं किया गया है। वहीं छात्रों का कहना है बिहार तकनीकी सेवा आयोग जब तक मेरिट लिस्ट प्रकाशित करने की तारीख नहीं देता है। तब तक हम यूं ही खड़े रहेंगे। सभी छात्र अवर अभियंता संघ से बिहार तकनीकी सेवा आयोग तक मानव श्रृंखला बनाकर आयोग तथा सरकार को जगाने की कोशिश कर रहे हैं तथा जल्द से जल्द अंतिम मेधा सूची जारी करने की मांग कर रहे हैं।