BANKA : उत्तरकाशी टनल में फंसे मजदूरों को 17 दिन बाद बाहर निकालने के बाद मजदूर के परिजनों में खुशी का माहौल है। इस टनल हादसे में बांका के वीरेंद्र किस्कू भी फंसा हुआ था। उनकी सलामती के लिए घर में लगातार 17 दिनों तक प्रार्थनाओं का दौर चला रहा था।इस बीच जैसे ही खबर आई कि वीरेंद्र सुरंग से बाहर निकल गए हैं, तो परिजनों में खुशी की लहर दौड़ गई।मां अपने बेटे की एक झलक पाने के इंतजार में घर में बैठी हुई है।
बांका के कटोरिया प्रखंड अंतर्गत जयपुर थाना क्षेत्र निवासी मुनीलाल किस्कू के पुत्र उत्तरकाशी निर्माण धिन सुरंग में पोकलेन चलाने का काम करता था। अचानक दिवाली के दिन हादसे के बाद वीरेंद्र भी अन्य मजदूरों के साथ सुरंग के अंदर फस गया था। जिसे 17 दिन के बाद मंगलवार की रात को रेस्क्यू टीम के द्वारा बाहर निकाला गया। सुरंग के अंदर से बाहर निकालने की खबर के बाद परिजनों और ग्रामीण में खुशी की लहर दौड़ गई।
बेटे के सुरंग के अंदर से बाहर निकालने की खुशी में मां सुषमा हेब्रेम ने सबसे पहले भगवान के आगे माथा टेक कर भगवान का शुक्रिया अदा किया।साथ ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एवं उत्तराखंड के राज्य सरकार और सेना के जवान एवं रेस्क्यू टीम एवं सभी को हाथ जोड़कर धन्यवाद कहां है। उन्होंने कहा कि इन लोगों की वजह से ही मेरा बेटा सही सलामत सुरंग से बाहर निकल गया है।
वीरेंद्र किस्कू की मां ने कहा कि सुरंग से बाहर निकालने के बाद बेटे से फोन पर बात हुई। बेटे ने कहा कि मां मैं बिल्कुल ठीक हूं। इतना सुनते ही मैं रो पड़ी। इसके बाद बेटे ने बोला कि यहां पर डॉक्टर द्वारा इलाज किया जा रहा है। इलाज करने के बाद यहां से छुट्टी मिलने के बाद मैं जल्द घर आऊंगा। जिसे सुनकर मां की आंखों में आंसू भर आई। वीरेंद्र की पत्नी एवं छोटा भाई वीरेंद्र को लाने के लिए वहां पर पहुंच गया है। फोन के माध्यम से बताया कि तीन से चार दिन के बाद यहां से छुट्टी होने पर घर के लिए रवाना हो जाएंगे।
वीरेंद्र किस्कू के गांव के लोगों ने कहा कि गांव में जश्न का माहौल है। वीरेंद्र जैसे ही गांव पहुंचेगा उसका फूल माला पहनाकर स्वागत किया जाएगा।