पटना पुलिस सिर्फ लूटपाट करनेवाले अपराधियों को पकड़ती है, लूटे गए सामान और पैसे वापस मिलने की गारंटी नहीं, यह है बड़े उदाहरण

पटना पुलिस सिर्फ लूटपाट करनेवाले अपराधियों को पकड़ती है, लूट

PATNA : राजधानी में बीते महीने हुए कई बड़ी घटनाओं का पटना पुलिस अब तक सफल उद्वेदन नहीं कर पाई है। लोकसभा चुनाव के तिथियां की घोषणा के होते ही पटना में बड़े पैमाने पर बिहार पुलिस मुख्यालय द्वारा अधिकारियों और कर्मियों का तबादला किया गया। इस बीच अपराधियों का तांडव लगातार जारी रहा। जिसमें कई लूट की घटना भी शामिल है। इन लूट की घटनाओं में पुलिस  ने अपराधियों को गिरफ्तार कर अपनी वाहवाही जरुर लूटी, लेकिन इन अपराधियों के पास लूटे गए पैसे और सामान पुलिस को नहीं मिले। इनमें कुछ घटनाओं को दो माह से भी ज्यादा समय गुजर चुका है और पीड़ित अब भी पुलिस की तरफ उम्मीद भरी नजर लगाए बैठे हैं।

ज्ञात हो की 7 फरवरी 2024 को कोतवाली थाना क्षेत्र के सिटी ऑफ हर्ट डाक बंगला में सोना व्यापारी से पिस्टल के बल पर दिनदहाड़े बाइक सवार अपराधियों ने साढ़े पांच किलो सोना लूट की बड़ी वारदात को अंजाम दिया साथ ही घटना का विरोध और दहशत फैलाने को लेकर व्यापारी पुत्र को गोली मारकर घायल कर फरार हुए इस मामले में पुलिस ने घटना में शामिल मुख्य साजिशकर्ता  पीयू के पूर्ववर्ती छात्र को गिरफ्तार कर सलाखों के पीछे भेज दिया वही इस मामले में लूट के सोना की बरामदगी शून्य है।

दूसरी बड़ी वारदात गर्दनीबाग थाना क्षेत्र के न्यू अलकापुरी इलाके में पेट्रोल पंप संचालक से बीते 2 अप्रैल को 33 लाख की लूट दिन दहाड़े अपराधियों ने कर पटना पुलिस को चुनौती दी। जिस घटना में पुलिस ने संदीप कुमार नामक एक संदिग्ध को गिरफ्तार कर खानापूर्ति की है। वही इस मामले में बरामदगी शून्य है।

 तीसरी घटना पटना के कंकड़बाग थाना क्षेत्र इलाके का है, जहां बीते 2 अप्रैल की रात पीएनबी के रिटायर्ड बैंक मैनेजर वृद्ध दंपति को बंधक बनाकर आईपीएल मैच देखने के दौरान घर में घुस 5 लाख लूट व डकैती की वारदात को अंजाम दिया है। 

हालांकि इन सभी घटनाओं में डेढ़ से दो महीने से ज्यादा का वक्त बीत गया है इन मामलों में पटना पुलिस के पास केवल एक रटा रटाया बयान आया गिरफ्तारी हुई है। मामले का खुलासा जल्द किया जाएगा। 

वही कदमकुआँ थाना क्षेत्र में सचिवालय कर्मी से दिनदहाड़े 6 लाख लूट के बाद स्वर्ण दुकानदार से 10 लाख लूट की नाकाम कोशिश में एक अपराधी पुलिस के हत्थे चढ़ा, ऐसे में मामले का उद्भेदन और बरामदगी शून्य है।

फिलहाल सभी मामलों को ठंडे बस्ते में रख पटना पुलिस अन्य कामों में व्यस्त है पीड़ित आस लगाए बैठे हैं कि पुलिस मामले का कब तक उद्भेदन कर पाएगी जहां बरामदगी शून्य है।

पटना से अनिल की रिपोर्ट