पटना में PFI कार्यालय पर छापामारी, देश विरोधी साजिश रच रहे कई लोग चढ़े पुलिस के हत्थे

पटना. वर्ष 2047 भारत को इस्लामिक राष्ट्र बनाने के खतरनाक मंसूबों को पाले दो संदिग्ध आतंकियों की गिरफ्तारी के बाद शुक्रवार को भी पटना में छापामारी जारी है. जांच एजेंसियों और ATS की टीम ने शुक्रवार को पीरबहोर थानाक्षेत्र के सब्जीबाग में छापेमारी की. सब्जीबाग में पीएफआई का कार्यालय है. इसी कार्यालय पर छापेमारी की जा रही है.
इसके पहले फुलवारीशरीफ में अतहर और ज्ल्लालुद्दीन की गिरफ्तारी के बाद तीन और लोगों को पुलिस ने पकड़ा है. सूत्रों के अनुसार शमिम अख्तर, शबीर मलिक और ताहिर अहमद नामक तीन लोगों को पीएफआई की गतिविधियों में संलिप्त रहने को लेकर पकड़ा है. हालांकि पुलिस की ओर से फ़िलहाल तीनों को हिरासत में लेने या पकड़ने की पुष्टि नहीं की गई है.
फुलवारीशरीफ में पीएफआई के ठिकानों पर हुई कार्रवाई में कुल 26 लोगों का नाम एफआईआर में दर्ज किया गया है. फुलवारीशरीफ के एडिशनल एसपी मनीष कुमार के अनुसार फुलवारीशरीफ के नयाटोला नहर के पास एक मकान में देश विरोधी और मुख्य रूप से समुदाय विरोधी कार्य किया जा रहा है. इसी क्रम में 6-7 जुलाई को यहां पर मार्शल आर्ट के नाम पर कुछ स्थानीय लोगों को चरमपंथी लोगों द्वारा तलवार, चाकू चलाने का प्रशिक्षण सहित दूसरे समुदाय के प्रति उन्मादित करने, साम्प्रदायिक विद्वेष पैदा करने का प्रयास किया गया था. पुलिस के पास पूरी घटना का सीसीटीवी फुटेज भी है. बाद में पुलिस ने 11 जुलाई की रात छापेमारी की और अतहर परवेज और मोहम्मद जलालुद्दीन को गिरफ्तार किया.
दरअसल, अतहर परवेज सिमी का पूर्व सदस्य रहा है. 2001-02 में जब सिमी बैन हुआ उस समय बिहार में जो आतंकी ब्लास्ट हुआ था उसमें मंजर परवेज गिरफ्तार हुआ था. मंजर भी अतहर का ही भाई है. बाद में अतहर ने वर्ष 2001, 2003, 2013 में बिहार में जो भी आतंकी घटनाएं हुई हैं उसमें गिरफ्तार लोगों के बेलर बनने का काम किया. वह पिछले दो साल से PFI-SDPI का सदस्य बना हुआ है. वहीं मोहम्मद जलालुद्दीन झारखंड में दरोगा रह चुका है लेकिन उसकी गतिविधियां भी संदिग्ध हैं.