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सात निश्चय योजना के तहत नीतीश कुमार के ड्रीम प्रोजेक्ट पर दलालों और बिचौलियों की वजह से ग्रहण लगता दिख रहा है

सात निश्चय योजना के तहत नीतीश कुमार के ड्रीम प्रोजेक्ट पर दलालों और बिचौलियों की वजह से ग्रहण लगता दिख रहा है

गया... बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के ड्रीम प्रोजेक्ट सात निश्चय योजना के तहत चल रहे हैं हर 'घर जल हर घर नल' में लूट मची है. ताजा मामला बिहार के गया का है , जहां ग्रामीण इलाकों में जल मीनार बनाए जाने के कार्य चल रहे हैं. गया से तकरीबन 45 किलोमीटर दूरी स्थित गुरुआ विधानसभा क्षेत्र के बैदा गांव में बन रहे जल मीनार अचानक ध्वस्त हो गया.

 बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के सपनों को भ्रष्ट और लूट में संलिप्त तथाकथित विभागीय अधिकारियों के साथ साथ बिचौलिए और दलाल तोड़ने में लगे हैं. गुरुआ के बैदा गांव में बन रहे जल मीनार लोगों की प्यास बुझाने से पहले ही बिखर गया.  दलित और महादलित लोगों की बस्ती में लोग प्यासे रह गए. यहां पिछले कई दशकों से लोगों को शुद्ध जल पीने के लिए मयस्सर नहीं है. नीतीश कुमार का सपना इन दलालों और बिचौलियों की वजह से बिहार के गया में बिखरता दिख रहा है. 

इस घटना के बाद आनन-फानन में मौके पर पहुंचे गुरुआ के वीडियो अरुण कुमार ने निर्माण कार्य करा रहे वार्ड सदस्य और सचिव पर एफ आई आर दर्ज कर दिया है. जल मीनार कैसे गिरा , निर्माण कार्य में कहां चूक थी ? इन बातों को लेकर वीडियो अरुण कुमार ने जांच शुरू कर दी है. उन्होंने बताया कि मामले की एफआईआर दर्ज कर सत्यता की तह में जाने की कोशिश की जा रही है. इधर ग्रामीण जल मीनार गिरने से आक्रोश में है. स्थानीय ग्रामीण कहते हैं कि वार्ड सचिव और सदस्य की मिलीभगत से घटिया सामग्री से निर्माण कार्य कराया जा रहा था. 

ऐसे दोषी जिम्मेवार लोगों को जेल के सलाखों के पीछे होना चाहिए. स्थानीय ग्रामीण बताते हैं कि इलाके में ज्यादातर लोग दलित , महादलित और गरीब हैं. पीने के लिए पानी दूरदराज से लाना पड़ता है. इस जल मीनार के बनने से उम्मीदें जगी थी कि अब शुद्ध पेयजल पीने को मिलेगा , लेकिन जल मीनार गिरने के बाद सपना चूर हो गया. हालांकि गुरुआ के वीडियो ने कहा कि शीघ्र जांच के बाद कार्य आरंभ किए जाएंगे. 

मुखिया प्रतिनिधि उदय पासवान ने बताया कि जल मीनार बनाने के क्रम में वेल्डिंग में चूक हो गई थी, जिसके वजह से पानी से भरा टंकी का लोड बर्दाश्त नहीं कर सका और पानी भरा टंकी जल मीनार से गिर पड़ा , हालांकि इस घटना में किसी के घायल होने की खबर नहीं है , लेकिन लोगों में आक्रोश और उबाल है. लोग वार्ड सदस्य और सचिव को जिम्मेदार मान रहे हैं. बिचौलियों और दलालों द्वारा मिलीभगत होने के कारण 16 लाख रूपए की राशि से निर्माण हो रहा है इस जल मीनार के ध्वस्त होने के बाद स्थानीय लोगों के सामने पेयजल की समस्या ज्यों की त्यों बनी रह गयी. सात निश्चय योजना के तहत नीतीश कुमार के ड्रीम प्रोजेक्ट पर दलालों और बिचौलियों की वजह से ग्रहण लगता दिख रहा है. देखना यह होगा कि ऐसे बिचौलियों और दलालों के वजह से विकास कार्य बाधित कर रहे लोगों पर नीतीश कुमार की सुशासन सरकार क्या कुछ करती है.


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