Sex Racket in Lucknow: लखनऊ में विदेशी सेक्स रैकेट का भंडाफोड़, प्लास्टिक सर्जरी करा कर करती थी गंदा काम!

लखनऊ: जहां एक ओर डॉक्टरों को धरती का भगवान कहा जाता है, वहीं लखनऊ से सामने आए एक मामले ने इस छवि को कलंकित कर दिया है। शहर के नामी प्लास्टिक सर्जन डॉ. विवेक गुप्ता पर आरोप है कि उन्होंने उज्बेकिस्तान की दो महिलाओं की प्लास्टिक सर्जरी कर उनकी पहचान बदल दी और उन्हें अवैध रूप से देश में रहने में मदद की। इससे भी गंभीर बात ये है कि इन महिलाओं के जरिए एक सेक्स रैकेट संचालित किया जा रहा था।
फर्जी पहचान से छिपाई गई हकीकत
पुलिस और विदेशी क्षेत्रीय पंजीकरण कार्यालय (FRRO) की संयुक्त टीम ने लखनऊ के सुशांत गोल्फ सिटी इलाके में स्थित एक फ्लैट में छापेमारी कर दो उज्बेक महिलाओं — होलिडा और निलोफर — को हिरासत में लिया। पूछताछ में पता चला कि दोनों महिलाएं बीते दो वर्षों से लखनऊ में रह रही थीं और इनके पास वैध पासपोर्ट या वीजा नहीं था। महिलाओं ने बताया कि डॉक्टर विवेक गुप्ता ने मोटी रकम लेकर उनकी प्लास्टिक सर्जरी की थी ताकि उनका चेहरा बदलकर पहचान छुपाई जा सके। यह काम त्रिजिन राज उर्फ अर्जुन राणा के कहने पर किया गया, जो खुद को पत्रकार बताता है।
सेक्स रैकेट में उज्बेक लीडर 'लोयोला' का नाम
इस गिरोह की असली मास्टरमाइंड उज्बेकिस्तान की महिला लोयोला है, जिसके खिलाफ वहां की सरकार ने पहले से लुकआउट नोटिस जारी कर रखा है। वह चोरी-छिपे भारत पहुंची और लखनऊ में अर्जुन राणा से शादी कर ली। यहीं से उसने सेक्स रैकेट चलाना शुरू किया। अर्जुन भी इस पूरे नेटवर्क में सक्रिय भूमिका निभा रहा था।
पुलिस ने किया बड़ा खुलासा
अहिमामऊ और गोमतीनगर में मौजूद डॉ. विवेक गुप्ता के मिनर्वा क्लीनिक को भी जांच के दायरे में लिया गया है। पूछताछ में यह जानकारी मिली है कि अब तक कई विदेशी महिलाओं की प्लास्टिक सर्जरी कर उनकी पहचान बदली गई, जिससे वे यहां आराम से बिना वैध कागज़ात के रह सकें।
मामला दर्ज, आगे की जांच जारी
डॉ. विवेक गुप्ता और त्रिजिन राज उर्फ अर्जुन राणा के खिलाफ विदेशी अधिनियम समेत कई गंभीर धाराओं में केस दर्ज कर लिया गया है। पुलिस यह भी जांच कर रही है कि अब तक कितने लोगों के चेहरे बदले गए हैं और कितने विदेशी इस नेटवर्क का हिस्सा रहे हैं। यह मामला न सिर्फ कानून व्यवस्था बल्कि चिकित्सा पेशे की नैतिकता पर भी बड़ा सवाल खड़ा करता है।