Political news - गडकरी ने दो टूक कहा, 'फ्री में कुछ नहीं होना चाहिए, क्योंकि मुफ्त चीज की कोई कदर नहीं करता', जानें किसकी तरफ है इशारा

Political news - केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि फ्री में कुछ नहीं होना चाहिए, क्योंकि मुफ्त चीज की कोई कदर नहीं करता

N4N Desk - अपनी बातों को खुलकर रखनेवाले नितिन गडकरी ने एक बार फिर ऐसा बयान दिया है। जिस पर चर्चा शुरू हो गई है। केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि गडकरी ने दो टूक कहा, “फ्री में कुछ नहीं होना चाहिए, क्योंकि मुफ्त चीज की कोई कदर नहीं करता। उन्होंने कहा कि जब कोई पैसे देता है तो मेहनत भी करता है।

गडकरी यहीं पर नहीं रूके, उन्होंने राजनीति पर भी तीखा कटाक्ष किया। उन्होंने कहा, “राजनीति फुकटियों का बाजार है, जहां लोग फ्री में कुछ पाने की उम्मीद से आते हैं। उनके इस बयान ने वहां बैठे युवाओं और आयोजक भी चौंक गए। लेकिन उनकी साफगोई ने सभी को सोचने पर मजबूर कर दिया।

किसी काम की नहीं है नगर निगम जैसी संस्थाएं

नागपुर में आयोजित एक सेमिनार में नितिन गडकरी ने सरकार को ही निकम्मा बता दिया। इसके साथ ही उन्होंने सरकारी तंत्र, नगर निगम और अन्य एजेंसियों की कार्यशैली पर भी सवाल उठा दिए। उन्होंने कहा कि सरकार की अधीनस्थ संस्थाएं जैसे नगर निगम, नागपुर सुधार प्रन्यास, कोई काम की नहीं हैं। इसलिए मुझे अलग तरीके से काम करवाना पड़ता है।

उन्होंने बताया कि वह नागपुर में 300 स्टेडियम बनाना चाहते हैं,  लेकिन स्थानीय सरकारी प्रक्रियाएं और सिस्टम इसमें रुकावट डालते हैं। जिसके कारण काम कराने का तरीका बदल दिया।

गडकरी ने बताया कि एक दुबई निवासी से उन्होंने स्टेडियम चलाने का अनुबंध तय किया है. निर्माण सरकार कराएगी, लेकिन मेंटेनेंस, संचालन और देखरेख उस व्यक्ति की जिम्मेदारी होगी। बदले में वह युवा खिलाड़ियों से मामूली शुल्क लेगा. गडकरी ने दो टूक कहा, “फ्री में कुछ नहीं होना चाहिए, क्योंकि मुफ्त चीज की कोई कदर नहीं करता.” उन्होंने कहा कि जब कोई पैसे देता है तो मेहनत भी करता है।

पैसे नहीं,  लेकिन  पांच लाख करोड़ के प्रोजेक्ट करवा सकते हैं
 गडकरी ने कहा, “मैं कोई चार्टर्ड अकाउंटेंट या फाइनेंशियल एक्सपर्ट नहीं हूं, लेकिन मैं एक अच्छा फाइनेंशियल काउंसलर हूं.” उन्होंने बताया कि पैसे ना होते हुए भी वे 5 लाख करोड़ रुपए तक के प्रोजेक्ट्स करवा लेते हैं. गडकरी ने युवाओं को खेल और करियर के लिए ईमानदारी से मेहनत करने की सलाह दी और कहा कि मुश्किल वक्त में कोई साथ नहीं देता इसलिए आत्मनिर्भर बनना जरूरी है।